ETV Bharat / bharat

पूर्व ULFA नेता अनूप चेतिया की राजनीति में एंट्री? असम गण परिषद में हो सकते हैं शामिल - Former ULFA leader Anup Chetia

author img

By ETV Bharat Hindi Team

Published : 3 hours ago

Former ULFA leader Anup Chetia to join AGP: अनूप चेतिया का एजीपी में शामिल होना इस बात को देखते हुए महत्वपूर्ण है कि क्षेत्रीय पार्टी को बढ़ावा देने की जरूरत है. सत्तारूढ़ गठबंधन का हिस्सा होने के बावजूद पार्टी पिछले लोकसभा चुनाव के साथ-साथ 2021 के असम विधानसभा चुनाव में भी बेहतर प्रदर्शन नहीं कर पाई थी.

Etv Bharat
पूर्व ULFA नेता अनूप चेतिया (ETV Bharat)

गुवाहाटी: प्रतिबंधित संगठन यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम (ULFA) के पूर्व महासचिव अनूप चेतिया असम की क्षेत्रीय राजनीतिक पार्टी असम गण परिषद (एजीपी) में शामिल हो सकते हैं. चेतिया उर्फ गोलाप बरुआ उल्फा के संस्थापक नेताओं में से एक हैं. उन्हें पहली बार 1991 में गिरफ्तार किया गया था, लेकिन तत्कालीन असम के मुख्यमंत्री हितेश्वर सैकिया ने उन्हें रिहा कर दिया था. बाद में उन्हें दिसंबर 1997 में बांग्लादेश में गिरफ्तार किया गया और तब से वे देश की अलग-अलग जेलों में बंद हैं.

नवंबर 2015 में बांग्लादेश सरकार ने चेतिया को भारत को सौंप दिया था. क्षेत्रीय राजनीतिक पार्टी के सूत्रों ने मंगलवार को ईटीवी भारत को इसकी जानकारी देते हुए कहा कि इस संबंध में शुरुआती स्तर की बातचीत पूरी हो चुकी है. जब पार्टी अपना 40वां स्थापना दिवस मनाएगी उस दिन यानी की चेतिया 14 अक्टूबर को क्षेत्रीय पार्टी में शामिल हो सकते हैं.

असम में भाजपा के नेतृत्व वाली सत्तारूढ़ सरकार की सहयोगी क्षेत्रीय राजनीतिक पार्टी तिनसुकिया जिले के पानीटोला के अंतर्गत जेराईगांव में अपना 40वां स्थापना दिवस मनाने जा रही है. उल्लेखनीय है कि जेराईगांव असम में तीन दशक से अधिक समय से चर्चा में है, क्योंकि यह उल्फा के कमांडर इन चीफ परेश बरुआ उर्फ परेश असम और संगठन के पूर्व महासचिव अनूप चेतिया उर्फ ​गोलाप बरुआ का भी घर है.

अनूप चेतिया का एजीपी में शामिल होना इस बात को देखते हुए महत्वपूर्ण है कि क्षेत्रीय पार्टी को बढ़ावा देने की जरूरत है. सत्तारूढ़ गठबंधन का हिस्सा होने के बावजूद पार्टी पिछले लोकसभा चुनाव के साथ-साथ 2021 के असम विधानसभा चुनाव में भी बेहतर प्रदर्शन नहीं कर पाई थी.

हालांकि एजीपी में चेतिया के संभावित शामिल होने की पुष्टि करने वाला कोई बयान नहीं दिया गया है, लेकिन एजीपी के विश्वसनीय सूत्रों ने कहा कि पूर्व विद्रोही नेता के क्षेत्रीय पार्टी में स्वागत की सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं.

एजीपी प्रमुख अतुल बोरा से जब चेतिया के क्षेत्रीय पार्टी में शामिल होने की संभावना के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, "एजीपी का दरवाजा उन सभी लोगों के लिए खुला है जो क्षेत्रीय राजनीति में विश्वास करते हैं. क्षेत्रवाद में विश्वास रखने वाले कई लोग एजीपी के 40वें स्थापना दिवस के मौके पर पार्टी में शामिल होंगे."

दूसरी ओर, इस बारे में पूछे जाने पर अनूप चेतिया ने सिर्फ़ इतना कहा, "मैं इस समय कोई बयान नहीं देने जा रहा हूं. असम के लोगों को आने वाले दिनों में पता चल जाएगा." यहां यह बताना जरूरी है कि, परेश बरुआ के बड़े भाई बिमल बरुआ भी कुछ महीने पहले एजीपी में शामिल हुए थे.

ये भी पढ़ें: 'पूरे देश में होना चाहिए NRC', अवैध घुसपैठ पर बोले असम के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा

गुवाहाटी: प्रतिबंधित संगठन यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम (ULFA) के पूर्व महासचिव अनूप चेतिया असम की क्षेत्रीय राजनीतिक पार्टी असम गण परिषद (एजीपी) में शामिल हो सकते हैं. चेतिया उर्फ गोलाप बरुआ उल्फा के संस्थापक नेताओं में से एक हैं. उन्हें पहली बार 1991 में गिरफ्तार किया गया था, लेकिन तत्कालीन असम के मुख्यमंत्री हितेश्वर सैकिया ने उन्हें रिहा कर दिया था. बाद में उन्हें दिसंबर 1997 में बांग्लादेश में गिरफ्तार किया गया और तब से वे देश की अलग-अलग जेलों में बंद हैं.

नवंबर 2015 में बांग्लादेश सरकार ने चेतिया को भारत को सौंप दिया था. क्षेत्रीय राजनीतिक पार्टी के सूत्रों ने मंगलवार को ईटीवी भारत को इसकी जानकारी देते हुए कहा कि इस संबंध में शुरुआती स्तर की बातचीत पूरी हो चुकी है. जब पार्टी अपना 40वां स्थापना दिवस मनाएगी उस दिन यानी की चेतिया 14 अक्टूबर को क्षेत्रीय पार्टी में शामिल हो सकते हैं.

असम में भाजपा के नेतृत्व वाली सत्तारूढ़ सरकार की सहयोगी क्षेत्रीय राजनीतिक पार्टी तिनसुकिया जिले के पानीटोला के अंतर्गत जेराईगांव में अपना 40वां स्थापना दिवस मनाने जा रही है. उल्लेखनीय है कि जेराईगांव असम में तीन दशक से अधिक समय से चर्चा में है, क्योंकि यह उल्फा के कमांडर इन चीफ परेश बरुआ उर्फ परेश असम और संगठन के पूर्व महासचिव अनूप चेतिया उर्फ ​गोलाप बरुआ का भी घर है.

अनूप चेतिया का एजीपी में शामिल होना इस बात को देखते हुए महत्वपूर्ण है कि क्षेत्रीय पार्टी को बढ़ावा देने की जरूरत है. सत्तारूढ़ गठबंधन का हिस्सा होने के बावजूद पार्टी पिछले लोकसभा चुनाव के साथ-साथ 2021 के असम विधानसभा चुनाव में भी बेहतर प्रदर्शन नहीं कर पाई थी.

हालांकि एजीपी में चेतिया के संभावित शामिल होने की पुष्टि करने वाला कोई बयान नहीं दिया गया है, लेकिन एजीपी के विश्वसनीय सूत्रों ने कहा कि पूर्व विद्रोही नेता के क्षेत्रीय पार्टी में स्वागत की सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं.

एजीपी प्रमुख अतुल बोरा से जब चेतिया के क्षेत्रीय पार्टी में शामिल होने की संभावना के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, "एजीपी का दरवाजा उन सभी लोगों के लिए खुला है जो क्षेत्रीय राजनीति में विश्वास करते हैं. क्षेत्रवाद में विश्वास रखने वाले कई लोग एजीपी के 40वें स्थापना दिवस के मौके पर पार्टी में शामिल होंगे."

दूसरी ओर, इस बारे में पूछे जाने पर अनूप चेतिया ने सिर्फ़ इतना कहा, "मैं इस समय कोई बयान नहीं देने जा रहा हूं. असम के लोगों को आने वाले दिनों में पता चल जाएगा." यहां यह बताना जरूरी है कि, परेश बरुआ के बड़े भाई बिमल बरुआ भी कुछ महीने पहले एजीपी में शामिल हुए थे.

ये भी पढ़ें: 'पूरे देश में होना चाहिए NRC', अवैध घुसपैठ पर बोले असम के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.