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पूर्व मंत्री याकूब का बेटा फिरोज दिल्ली एयरपोर्ट से गिरफ्तार; देश छोड़कर दुबई भागने की फिराक में था - Yakub Qureshi Son Firoz

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Aug 5, 2024, 10:24 AM IST

पिछले साल देश न छोड़ने की शर्त पर बसपा सरकार में मंत्री रहे और मीट कारोबारी याकूब कुरैशी के दो बेटों को जमानत मिली थी. इसके बाद मीट कारोबारी के दोनों बेटे देश के बाहर नहीं जा सकते थे. लेकिन, अब याकूब कुरैशी का बेटा फिरोज उर्फ भूरा दुबई भागने की फिराक में था. उसे दिल्ली के अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से गिरफ्तार कर लिया गया.

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लोकसभा चुनाव 2024 की मेरठ रैली में मंच पर मायावती और याकूब कुरैशी. इनसेट में बेटा फिरोज. (Photo Credit; ETV Bharat)

मेरठ: बसपा शासनकाल में मंत्री रहे मीट कारोबारी हाजी याकूब कुरैशी का बेटा फिरोज उर्फ भूरा दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से गिरफ्तार किया गया है. वह दुबई जाने की फिराक में था. याकूब कुरैशी के दो बेटों को मिली जमानत में देश न छोड़ने की शर्त शामिल थी, लेकिन फिरोज उर्फ भूरा नियमों का उल्लंघन करके दुबई जाने वाला था. फिरोज का रेड कॉर्नर नोटिस जारी है.

बता दें कि विधानसभा चुनाव 2022 के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश में बड़ी कार्रवाई थी. पूर्व मंत्री याकूब कुरैशी की बंद पड़ी मीट फैक्ट्री में बड़े पैमाने पर कार्रवाई के दौरान वहां से करीब पांच करोड़ रुपये से अधिक कीमत का मीट बरामद हुआ था. पुलिस ने इस केस में याकूब के दो बेटों को भी पकड़कर जेल भेजा था. जेल से पूर्व मंत्री के बेटे को बाद में सशर्त जमानत मिल गई थी.

एसएसपी डॉ. विपिन ताडा ने बताया कि पुलिस ने फिरोज को रविवार को दिल्ली एयरपोर्ट से पकड़ लिया था. उसके बाद उसे देर रात को खरखौदा पुलिस दिल्ली एयरपोर्ट से थाने लाई. पूछताछ के बाद उसे इस शर्त पर थाने से छोड़ दिया गया कि भविष्य में वह जमानत की शर्तों का उल्लंघन नहीं करेगा.

बता दें कि मीट फैक्टरी पर हुई कार्रवाई के बाद से पूर्व मंत्री का पूरा परिवार फरार चल रहा था. बाद में अलग-अलग जगह से काफी मशक्कत के बाद इन लोगों को पकड़ा जा सकता था. फिरोज को पुलिस ने 28 नवंबर 2022 को गाजियाबाद के वसुंधरा अपार्टमेंट से गिरफ्तार किया था.

मंत्री के परिवार की अवैध करोड़ों रुपए की संपत्ति भी पुलिस कुर्क कर चुकी है. सलाखों के पीछे 96 दिन रहे फिरोज को सशर्त जमानत मिल गई थी. जिसके बाद चार मार्च 2023 को उसे जेल से रिहा कर दिया गया था.

स्पष्ट रूप से जमानत के दौरान यह शर्त थी कि फिरोज मुकदमा खत्म होने तक देश छोड़कर नहीं जाएगा. फिरोज की फरारी के समय खरखौदा पुलिस ने रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया था.

कभी सड़कों पर नींबू बेचकर अपनी आजीविका चलाने वाले याकूब कुरैशी की खरखौदा के अलीपुर स्थित अलफहीम मीटेक्स प्राइवेट लिमिटेड में मीट पैकेजिंग और प्रोसेसिंग की जा रही थी. 31 मार्च 2022 को के बाद से इस परिवार की उल्टी गिनती शुरू हो गई थी. जबकि एक वक्त था कि पश्चिमी यूपी की सियासत में याकूब कुरैशी की बसपा में मजबूत पकड़ थी और पार्टी के बड़े मुस्लिम चेहरों में गिनती होती थी.

जमानत पर आए पूर्व मंत्री याकूब कुरैशी ने 2024 में हुए लोकसभा चुनाव में भी बीएसपी की मुखिया मायावती के साथी मंच साझा करते हुए मेरठ में हुई रैली में भाग लिया था. मायावती को सोने का मुकुट उपहार में दिया था. याकूब के बेटे भी मायावती की रैली में मंच पर मौजूद रहे थे. मेरठ से बीएसपी प्रत्याशी के पक्ष में याकूब कुरैशी ने तमाम नुक्कड़ सभाएं कीं लेकिन, प्रत्याशी को बुरी तरह हार का सामाना करना पड़ा था.

ये भी पढ़ेंः मायावती को पूर्व मंत्री याकूब कुरैशी ने भेंट किया सोने का मुकुट, पुलिस जब्त कर चुकी है करोड़ों की संपत्ति, फिलहाल जमानत पर हैं बाहर

मेरठ: बसपा शासनकाल में मंत्री रहे मीट कारोबारी हाजी याकूब कुरैशी का बेटा फिरोज उर्फ भूरा दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से गिरफ्तार किया गया है. वह दुबई जाने की फिराक में था. याकूब कुरैशी के दो बेटों को मिली जमानत में देश न छोड़ने की शर्त शामिल थी, लेकिन फिरोज उर्फ भूरा नियमों का उल्लंघन करके दुबई जाने वाला था. फिरोज का रेड कॉर्नर नोटिस जारी है.

बता दें कि विधानसभा चुनाव 2022 के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश में बड़ी कार्रवाई थी. पूर्व मंत्री याकूब कुरैशी की बंद पड़ी मीट फैक्ट्री में बड़े पैमाने पर कार्रवाई के दौरान वहां से करीब पांच करोड़ रुपये से अधिक कीमत का मीट बरामद हुआ था. पुलिस ने इस केस में याकूब के दो बेटों को भी पकड़कर जेल भेजा था. जेल से पूर्व मंत्री के बेटे को बाद में सशर्त जमानत मिल गई थी.

एसएसपी डॉ. विपिन ताडा ने बताया कि पुलिस ने फिरोज को रविवार को दिल्ली एयरपोर्ट से पकड़ लिया था. उसके बाद उसे देर रात को खरखौदा पुलिस दिल्ली एयरपोर्ट से थाने लाई. पूछताछ के बाद उसे इस शर्त पर थाने से छोड़ दिया गया कि भविष्य में वह जमानत की शर्तों का उल्लंघन नहीं करेगा.

बता दें कि मीट फैक्टरी पर हुई कार्रवाई के बाद से पूर्व मंत्री का पूरा परिवार फरार चल रहा था. बाद में अलग-अलग जगह से काफी मशक्कत के बाद इन लोगों को पकड़ा जा सकता था. फिरोज को पुलिस ने 28 नवंबर 2022 को गाजियाबाद के वसुंधरा अपार्टमेंट से गिरफ्तार किया था.

मंत्री के परिवार की अवैध करोड़ों रुपए की संपत्ति भी पुलिस कुर्क कर चुकी है. सलाखों के पीछे 96 दिन रहे फिरोज को सशर्त जमानत मिल गई थी. जिसके बाद चार मार्च 2023 को उसे जेल से रिहा कर दिया गया था.

स्पष्ट रूप से जमानत के दौरान यह शर्त थी कि फिरोज मुकदमा खत्म होने तक देश छोड़कर नहीं जाएगा. फिरोज की फरारी के समय खरखौदा पुलिस ने रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया था.

कभी सड़कों पर नींबू बेचकर अपनी आजीविका चलाने वाले याकूब कुरैशी की खरखौदा के अलीपुर स्थित अलफहीम मीटेक्स प्राइवेट लिमिटेड में मीट पैकेजिंग और प्रोसेसिंग की जा रही थी. 31 मार्च 2022 को के बाद से इस परिवार की उल्टी गिनती शुरू हो गई थी. जबकि एक वक्त था कि पश्चिमी यूपी की सियासत में याकूब कुरैशी की बसपा में मजबूत पकड़ थी और पार्टी के बड़े मुस्लिम चेहरों में गिनती होती थी.

जमानत पर आए पूर्व मंत्री याकूब कुरैशी ने 2024 में हुए लोकसभा चुनाव में भी बीएसपी की मुखिया मायावती के साथी मंच साझा करते हुए मेरठ में हुई रैली में भाग लिया था. मायावती को सोने का मुकुट उपहार में दिया था. याकूब के बेटे भी मायावती की रैली में मंच पर मौजूद रहे थे. मेरठ से बीएसपी प्रत्याशी के पक्ष में याकूब कुरैशी ने तमाम नुक्कड़ सभाएं कीं लेकिन, प्रत्याशी को बुरी तरह हार का सामाना करना पड़ा था.

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