हैदराबाद: तेलंगना के पूर्व मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव की पार्टी बीआरएस छोड़ने के एक दिन बाद के. केशव राव (के.के.) ने राज्यसभा की सदस्यता से भी इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने गुरुवार को अपना त्यागपत्र राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ को सौंपा. केशव राव बुधवार को फिर से कांग्रेस में शामिल हुए. दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, राहुल गांधी, तेलंगाना के सीएम रेवंत रेड्डी और तेलंगाना कांग्रेस के प्रभारी दीपादास मुंशी ने पार्टी में उनका स्वागत किया था.
भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) से राज्यसभा के लिए चुने गए केशव राव ने कांग्रेस में शामिल होने के बाद संसद के उच्च सदन की सदस्यता छोड़ने का फैसला किया. हालांकि अभी उनका कार्यकाल दो साल के लिए बचा था. राज्यसभा की सदस्यता से इस्तीफा देने के बाद 85 वर्षीय नेता ने कहा कि उन्हें अब इस पद पर बने रहना नैतिक और कानूनी रूप से उचित नहीं है. वहीं, कांग्रेस नेताओं का कहना है कि केशव राव को जल्द ही पार्टी में अहम जिम्मेदारी मिल सकती है.
Worthy homecoming !
— Mallikarjun Kharge (@kharge) July 3, 2024
We welcome senior leader, Shri K. Keshav Rao ji to the Congress party.
We are confident that his vast experience in public service will strengthen the Congress party in Telangana. pic.twitter.com/xsjpmTaNMf
राव को 2020 में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) द्वारा राज्यसभा भेजा गया था. उन्होंने तेलंगाना राज्य के गठन में देरी के विरोध में कांग्रेस छोड़ दी थी और 2013 में के चंद्रशेखर राव के नेतृत्व वाली टीआरएस (अब बीआरएस) में शामिल हो गए थे. इससे पहले वह लगभग पांच दशकों तक कांग्रेस से जुड़े हुए थे. 10 साल तक बीआरएस में रहने के बाद उन्होंने कांग्रेस में वापसी की है. राव से पहले उनकी बेटी गडवाल विजया लक्ष्मी भी मार्च 2024 में कांग्रेस में शामिल हुई थीं.
पिछले साल तेलंगाना विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की जीत के बाद से अब तक बीआरएस के कई नेता कांग्रेस में शामिल हो चुके हैं, लेकिन किसी ने पद से इस्तीफा नहीं दिया है. सिर्फ के.के. ने अपने पद से इस्तीफा दिया है.
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