अहिल्यानगर: महाराष्ट्र के अहिल्यानगर जिले के सौंदाला गांव की ग्राम पंचायत ने बाल मजदूरी, गाली-गलौज और मोबाइल की लत को रोकने के लिए अनूठी पहल की है. अब अगर कोई भी व्यक्ति गाली-गलौज करता हुआ पाया गया, तो उस पर जुर्माना लगाया जाएगा.
सौंदाला ग्राम पंचायत ने हाल ही में इस संबंध में एक प्रस्ताव पारित किया था और 2 दिसंबर से गांव में इस नियम का पालन हो रहा है. निवासियों को इसकी जानकारी के लिए पूरे गांव में बैनर लगाए गए हैं. इसके अलावा, गाली देने वालों को कैमरे में कैद करने के लिए गांव के विभिन्न स्थानों पर सीसीटीवी लगाए गए हैं.
नेवासा तालुका के सौंदाला गांव में हाल ही में आयोजित ग्राम सभा में गांव के लोगों के साथ-साथ बाहरी लोगों को भी गाली-गलौज न करने की चेतावनी दी गई है. यह निर्णय लिया गया है कि मां-बहनों सहित दूसरों के साथ दुर्व्यवहार करने वालों पर 500 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा.
बच्चों को मोबाइल फोन देने पर जुर्माना
मोबाइल की लत स्कूली छात्रों की पढ़ाई पर बुरा असर डाल रही है, इसलिए ग्राम पंचायत ने अभिभावकों से कहा है कि वे अपने बच्चों को मोबाइल फोन का इस्तेमाल न करने दें. यह निर्णय लिया गया है कि स्कूली छात्रों को शाम 7 से 9 बजे के बीच घर पर मोबाइल फोन नहीं दिया जाएगा. अगर कोई बच्चा इस दौरान मोबाइल फोन का इस्तेमाल करता हुआ पाया जाता है, तो उसके परिवार को 500 रुपये का जुर्माना देना होगा. गांव के जिला परिषद स्कूल के शिक्षकों की एक टीम हर दिन शाम 7 से 9 बजे के बीच गांव में घूमकर मोबाइल फोन के इस्तेमाल पर निगरानी रखेगी.
बाल मजदूर की फोटो लाने पर 1000 रुपये का इनाम
साथ ही गांव में बाल मजदूरी को खत्म करने के लिए अभियान चलाया गया है, इसके लिए 'बाल मजदूर दिखाओ और 1000 रुपये पाओ' का नारा दिया गया है. सौंदाला के सरपंच शरद अरगड़े ने कहा है कि अगर कोई बाल मजदूर को देखता है और उसकी फोटो खींचकर ग्राम पंचायत में लाता है तो उसे 1000 रुपये का इनाम दिया जाएगा.
ग्राम सेवक प्रतिभा पिसोटे ने कहा कि जुर्माने की राशि का इस्तेमाल लोगों को गाली-गलौज के खिलाफ जागरूक करने के लिए फ्लेक्स बोर्ड लगाने में किया जाएगा.
यह भी पढ़ें- गर्भवती महिला को स्ट्रेचर पर तीन किलोमीटर लेकर चलना पड़ा, गांव तक सड़क नहीं