जयपुर: विश्व के जाने-माने नोबेल अर्थशास्त्री अभिजीत बनर्जी जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल में शिरकत करने पहुंचे. एक सेशन के दौरान उन्होंने अपनी किताब 'छौंक' के बारे में जानकारी साझा की. अभिजीत बनर्जी अमेरिका की एक विख्यात यूनिवर्सिटी में इकोनॉमिक्स के प्रोफेसर हैं और उन्होंने खाने के ऊपर एक किताब लिखी है. इस मौके पर अभिजीत बनर्जी ने बताया कि उनकी किताब भले ही खाने पर लिखी गई हो, लेकिन उसमें भी इकोनॉमिक्स का तड़का लगाया गया है. बनर्जी बोले कि इस किताब में खाने के माध्यम से इकोनॉमिक्स को समझाने की कोशिश की गई है.
इस सेशन उन्होंने कहा कि इकोनॉमिक्स आपके आम जीवन से जुड़ी रहती है और खाने के माध्यम से इकोनॉमिक्स को आसानी से समझा जा सकता है. हाल ही में मोदी सरकार के आम बजट पर अभिजीत बनर्जी ने कहा कि टैक्स घटाने या बढ़ाने से इकोनॉमी ग्रोथ नहीं कर सकती, इसके लिए एंप्लॉयमेंट जेनरेशन जरूरी है.
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बनर्जी ने कहा कि टैक्स हर सरकार के लिए काफी जरूरी है और इसमें फेरबदल करने से आमजन को फायदा हो सकता है, लेकिन किसी भी सरकार को चलाने के लिए पैसा जरूरी है. वह पैसा टैक्स के जरिए ही आता है. उन्होंने कहा कि सरकारों को टैक्स की बजाय अधिक से अधिक एंप्लॉयमेंट देने पर ध्यान देना चाहिए, क्योंकि जितने अधिक लोग टैक्स के दायरे में आएंगे. उतनी ही उस देश की तरक्की होगी. अर्थव्यवस्था इकोनॉमी में डिमांड ग्रोथ काफी जरूरी है.
इनकम ग्रोथ अमीर लोगों पर ज्यादा निर्भर: अभिजीत बनर्जी ने कहा कि टैक्सेशन अर्थव्यवस्था का एक मजबूत रिश्ता है, यदि टैक्स के माध्यम से पैसा नहीं आएगा तो सरकार देश को कैसे चलाएगी. उन्होंने यह भी कहा कि इनकम ग्रोथ अमीर लोगों पर ज्यादा निर्भर है. ऐसे में आम लोगों को भी टैक्स के दायरे में लाना काफी जरूरी है.