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आयरलैंड की महिला के खाते से साइबर ठग ने उड़ाए 1700 यूरो, CBI की जांच में पता चला उत्तराखंड में है शातिर, तलाश शुरू - Cyber fraud with Irish woman

Cyber fraud with Irish woman आयरलैंड की एक महिला को भारतीय साइबर ठग ने 1700 यूरो का चूना लगा दिया. महिला ने भारतीय दूतावास में शिकायत को तो सीबीआई को जांच सौंपी गई. सीबीआई की जांच में पता चला कि महिला साइबर ठग का ठिकाना उत्तराखंड के रुद्रपुर में है. रुद्रपुर पुलिस महिला साइबर ठग को तलाश रही है. इस खबर में जानिए कैसे आयलैंड की महिला को साइबर ठग ने अपने जाल में फंसाकर 1 लाख 53 हजार का चूना लगाया.

Cyber fraud with Irish woman
साइबर अपराध न्यूज (Photo-Etv Bharat)
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : May 3, 2024, 9:08 AM IST

रुद्रपुर: आयरलैंड निवासी एक महिला से साइबर ठग द्वारा 1 लाख 53 हजार रुपए ठगी करने का मामला प्रकाश में आया है. कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर विवेचना शुरू कर दी है. जब महिला द्वारा विदेशी दूतावास और भारतीय दूतावास से इसकी शिकायत की गई, तो पता चला कि आरोपी साइबर ठग का कनेक्शन उत्तराखंड के रुद्रपुर से है. शिकायती पत्र के आधार पर रुद्रपुर कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आरोपी की धरपकड़ की कोशिश शुरू कर दी है.

आयरिश महिला से साइबर ठगी: साइबर ठग द्वारा इस बार आयरलैंड की महिला से 1700 यूरो की ठगी का मामला सामने आया है. पीड़ित महिला द्वारा विदेशी दूतावास और भारतीय दूतावास से शिकायत की गई है. जिसके बाद मामले की जांच सीबीआई दी गई थी. जब मामले की जांच की गई तो ठग रुद्रपुर क्षेत्र की रहने वाली पायी गयी. अब रुद्रपुर कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आरोपी की धरपकड़ की कोशिश शुरू कर दी है.

रस्टडेस्क एप डाउनलोड करवाया: जानकारी के मुताबिक आयरलैंड बेल न्यू कोर्ट फ्रैकफील्ड, डगलस कॉर्क निवासी गिलियन ओ महोनी ने विदेशी दूतावास को शिकायती पत्र भेज कर बताया कि 14 जून 2023 को 087 नंबर से टेलीफोन आया था. कॉलर ने बताया कि आपका रिवोल्ट खाता हैक हो गया है. भारत में खाते से बड़े पैमाने पर खरीदारी की गई है. जिससे बचने के लिए रस्टडेस्क नाम का एप डाउनलोड करना होगा. जिसके बाद खाते से निकली धनराशि वापस हो जाएगी.

साइबर ठग ने डेविड केनी बताया अपना नाम: विदेशी मूल की पीड़िता का कहना था कि वह एक सप्ताह के लिए पुर्तगाल गई थी. शायद वहीं उसके एटीएम कार्ड को कॉपी कर लिया गया होगा. साइबर ठग की बातों में आकर उसने गूगल प्ले स्टोर से एप डाउनलोड कर लिया. कॉलर ने अपना नाम डेविड केनी बताया, जबकि भारतीय महिलाएं ऐसा नाम कभी नहीं रखती हैं, वह कोई और महिला थी. 30 मिनट हुई बातचीत के बाद उसे लगा कि उसके साथ धोखाधड़ी हो गई है.

सीबीआई ने की साइबर ठगी की जांच: जिसके बाद पीड़िता ने अपने खाते की जांच करवाई तो पता चला कि आठ बार लेनदेन के जरिए उसके टीएसबी खाते से 1700 यूरो निकाले गए हैं. ये पैसा भारतीय मुद्रा में 1.53 लाख रुपये होते हैं. साइबर ठगी होने के बाद पीड़िता ने इसकी शिकायत विदेश दूतावास और भारतीय दूतावास से की. मामले की प्रारंभिक जांच सीबीआई को सौंपी गई. सीबीआई ने जब ठगी प्रकरण की जांच की तो पता चला कि विदेशी मूल की महिला से साइबर ठगी को अंजाम देने वाली आरोपी रुद्रपुर की रहने वाली है. जिसके बाद कोतवाली पुलिस ने शिकायत के आधार पर मुकदमा पंजीकृत कर आरोपी की तलाश शुरू कर दी है.
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रुद्रपुर: आयरलैंड निवासी एक महिला से साइबर ठग द्वारा 1 लाख 53 हजार रुपए ठगी करने का मामला प्रकाश में आया है. कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर विवेचना शुरू कर दी है. जब महिला द्वारा विदेशी दूतावास और भारतीय दूतावास से इसकी शिकायत की गई, तो पता चला कि आरोपी साइबर ठग का कनेक्शन उत्तराखंड के रुद्रपुर से है. शिकायती पत्र के आधार पर रुद्रपुर कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आरोपी की धरपकड़ की कोशिश शुरू कर दी है.

आयरिश महिला से साइबर ठगी: साइबर ठग द्वारा इस बार आयरलैंड की महिला से 1700 यूरो की ठगी का मामला सामने आया है. पीड़ित महिला द्वारा विदेशी दूतावास और भारतीय दूतावास से शिकायत की गई है. जिसके बाद मामले की जांच सीबीआई दी गई थी. जब मामले की जांच की गई तो ठग रुद्रपुर क्षेत्र की रहने वाली पायी गयी. अब रुद्रपुर कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आरोपी की धरपकड़ की कोशिश शुरू कर दी है.

रस्टडेस्क एप डाउनलोड करवाया: जानकारी के मुताबिक आयरलैंड बेल न्यू कोर्ट फ्रैकफील्ड, डगलस कॉर्क निवासी गिलियन ओ महोनी ने विदेशी दूतावास को शिकायती पत्र भेज कर बताया कि 14 जून 2023 को 087 नंबर से टेलीफोन आया था. कॉलर ने बताया कि आपका रिवोल्ट खाता हैक हो गया है. भारत में खाते से बड़े पैमाने पर खरीदारी की गई है. जिससे बचने के लिए रस्टडेस्क नाम का एप डाउनलोड करना होगा. जिसके बाद खाते से निकली धनराशि वापस हो जाएगी.

साइबर ठग ने डेविड केनी बताया अपना नाम: विदेशी मूल की पीड़िता का कहना था कि वह एक सप्ताह के लिए पुर्तगाल गई थी. शायद वहीं उसके एटीएम कार्ड को कॉपी कर लिया गया होगा. साइबर ठग की बातों में आकर उसने गूगल प्ले स्टोर से एप डाउनलोड कर लिया. कॉलर ने अपना नाम डेविड केनी बताया, जबकि भारतीय महिलाएं ऐसा नाम कभी नहीं रखती हैं, वह कोई और महिला थी. 30 मिनट हुई बातचीत के बाद उसे लगा कि उसके साथ धोखाधड़ी हो गई है.

सीबीआई ने की साइबर ठगी की जांच: जिसके बाद पीड़िता ने अपने खाते की जांच करवाई तो पता चला कि आठ बार लेनदेन के जरिए उसके टीएसबी खाते से 1700 यूरो निकाले गए हैं. ये पैसा भारतीय मुद्रा में 1.53 लाख रुपये होते हैं. साइबर ठगी होने के बाद पीड़िता ने इसकी शिकायत विदेश दूतावास और भारतीय दूतावास से की. मामले की प्रारंभिक जांच सीबीआई को सौंपी गई. सीबीआई ने जब ठगी प्रकरण की जांच की तो पता चला कि विदेशी मूल की महिला से साइबर ठगी को अंजाम देने वाली आरोपी रुद्रपुर की रहने वाली है. जिसके बाद कोतवाली पुलिस ने शिकायत के आधार पर मुकदमा पंजीकृत कर आरोपी की तलाश शुरू कर दी है.
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