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राष्ट्रपति भवन में गार्ड सेरेमनी समारोह के फॉर्मे्ट में होगा बदलाव, नए स्वरूप में होगा आयोजन - RASHTRAPATI BHAVAN

इस कार्यक्रम में राष्ट्रपति के अंगरक्षक सुसज्जित घोड़ों पर सवार होकर आर्मी ब्रास बैंड के संगीत के साथ आगे बढ़ते हैं.

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राष्ट्रपति भवन में गार्ड परिवर्तन समारोह (प्रतीकात्मक फोटो) (ANI)
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By PTI

Published : Feb 8, 2025, 2:33 PM IST

नई दिल्ली: राष्ट्रपति भवन की ओर से शनिवार को कहा कि गार्ड परिवर्तन समारोह अब नए प्रारूप में आयोजित किया जाएगा और बैठने की क्षमता बढ़ाई जाएगी. इसमें कहा गया है कि नए प्रारूप में लोग राष्ट्रपति भवन में गतिशील दृश्य और संगीतमय प्रदर्शन देख सकेंगे.

राष्ट्रपति भवन द्वारा जारी बयान में कहा गया है कि समारोह में राष्ट्रपति के अंगरक्षक दल और सेरेमोनियल गार्ड बटालियन के सैनिकों और घोड़ों के साथ-साथ सेरेमोनियल मिलिट्री ब्रास बैंड द्वारा औपचारिक सैन्य अभ्यास का प्रदर्शन किया जाएगा. इसमें कहा गया है कि 22 फरवरी से गार्ड परिवर्तन समारोह नए प्रारूप में होगा तथा बैठने की क्षमता भी बढ़ाई जाएगी. बयान में कहा गया है कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 16 फरवरी को उद्घाटन समारोह देखेंगी.

गार्ड ऑफ चेंज समारोह एक सैन्य परंपरा है जो हर हफ्ते आयोजित की जाती है ताकि राष्ट्रपति के अंगरक्षकों के एक नए समूह को कार्यभार संभालने का मौका मिल सके. राष्ट्रपति अंगरक्षक (PBG) की स्थापना 1773 में हुई थी. यह भारतीय सेना की सबसे वरिष्ठ रेजिमेंट है, जो राष्ट्रपति के लिए औपचारिक कर्तव्यों का निर्वहन करती है. राष्ट्रपति अंगरक्षक के बेहतरीन घुड़सवार, सक्षम टैंकमैन और पैराट्रूपर्स होते हैं.

चेंज ऑफ गार्ड सेरमनी लंबे अरसे ले चली आ रही सैन्य परंपरा है. इसके तहत राष्ट्रपति की सुरक्षा में तैनात जवानों को एक निर्धारित समय पर बदला जाता है. ये परंपरा केवल सुरक्षा के लिहाज से नहीं जुड़ा है बल्कि ये अनुशासन, सतर्कता और निरंतरता का प्रतीक भी है. यह कार्यक्रम बड़ा ही रोचक होता है. 30 मिनट के इस कार्यक्रम में राष्ट्रपति के अंगरक्षक सुसज्जित बेहतरीन घोड़ों पर सवार होकर आर्मी ब्रास बैंड के शानदार संगीत के साथ आगे बढ़ते हैं.

ये भी पढ़ें-राष्ट्रपति भवन में चला 'कुछ कुछ होता है' गाने का जादू, इंडोनेशियाई डेलिगेशन ने बांधा समां

नई दिल्ली: राष्ट्रपति भवन की ओर से शनिवार को कहा कि गार्ड परिवर्तन समारोह अब नए प्रारूप में आयोजित किया जाएगा और बैठने की क्षमता बढ़ाई जाएगी. इसमें कहा गया है कि नए प्रारूप में लोग राष्ट्रपति भवन में गतिशील दृश्य और संगीतमय प्रदर्शन देख सकेंगे.

राष्ट्रपति भवन द्वारा जारी बयान में कहा गया है कि समारोह में राष्ट्रपति के अंगरक्षक दल और सेरेमोनियल गार्ड बटालियन के सैनिकों और घोड़ों के साथ-साथ सेरेमोनियल मिलिट्री ब्रास बैंड द्वारा औपचारिक सैन्य अभ्यास का प्रदर्शन किया जाएगा. इसमें कहा गया है कि 22 फरवरी से गार्ड परिवर्तन समारोह नए प्रारूप में होगा तथा बैठने की क्षमता भी बढ़ाई जाएगी. बयान में कहा गया है कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 16 फरवरी को उद्घाटन समारोह देखेंगी.

गार्ड ऑफ चेंज समारोह एक सैन्य परंपरा है जो हर हफ्ते आयोजित की जाती है ताकि राष्ट्रपति के अंगरक्षकों के एक नए समूह को कार्यभार संभालने का मौका मिल सके. राष्ट्रपति अंगरक्षक (PBG) की स्थापना 1773 में हुई थी. यह भारतीय सेना की सबसे वरिष्ठ रेजिमेंट है, जो राष्ट्रपति के लिए औपचारिक कर्तव्यों का निर्वहन करती है. राष्ट्रपति अंगरक्षक के बेहतरीन घुड़सवार, सक्षम टैंकमैन और पैराट्रूपर्स होते हैं.

चेंज ऑफ गार्ड सेरमनी लंबे अरसे ले चली आ रही सैन्य परंपरा है. इसके तहत राष्ट्रपति की सुरक्षा में तैनात जवानों को एक निर्धारित समय पर बदला जाता है. ये परंपरा केवल सुरक्षा के लिहाज से नहीं जुड़ा है बल्कि ये अनुशासन, सतर्कता और निरंतरता का प्रतीक भी है. यह कार्यक्रम बड़ा ही रोचक होता है. 30 मिनट के इस कार्यक्रम में राष्ट्रपति के अंगरक्षक सुसज्जित बेहतरीन घोड़ों पर सवार होकर आर्मी ब्रास बैंड के शानदार संगीत के साथ आगे बढ़ते हैं.

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