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मेरठ में मौलाना को गोली मारने वाला यूपी पुलिस को चकमा देकर पहुंचा दिल्ली, तमंचे के साथ किया सरेंडर - Meerut Maulana Shot in Mosque

मेरठ में ऑनलाइन उर्दू की क्लास ले रहे मौलाना को मस्जिद में घुसकर मारी थी गोली, मेरठ पुलिस ने गिरफ्तारी के लिए बनाई थीं टीमें.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : 3 hours ago

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मेरठ में मौलाना को गोली मारने वाला यूपी पुलिस को चकमा देकर पहुंचा दिल्ली. (Photo Credit; ETV Bharat Archive)

मेरठ: यूपी के मेरठ में रविवार को मस्जिद में घुसकर मौलाना को गोली मार दी गई थी. हमलावर सरताज गोली मारकर फरार हो गया था. मेरठ पुलिस ने उसकी गिरफ्तारी के लिए टीमें बनाई थीं, जो उसकी तलाश में जुटी थीं. लेकिन, सरताज बेहद ही शातिर निकला. उसने मेरठ समेत गाजियाबाद की सीमा के बाहर तक तमंचे के साथ सफर किया और दिल्ली जाकर पुलिस के सामने सरेंडर कर दिया.

आलम यह है कि जानलेवा हमला करने वाला शख्स मेरठ से दिल्ली तक तमंचा लेकर गया और किसी को भनक तक नहीं लगी, वहीं नाटकीय ढंग से दिल्ली के गाजीपुर थाने की पुलिस ने उसे अवैध हथियार रखने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया.

जानकारी के मुताबिक रविवार को जब लिसाड़ी गेट थाना क्षेत्र अंतर्गत कासमी मस्जिद में नमाज हुई तब हमलावर सरताज चुपचाप मस्जिद के बाहर पहुंचा था. उसके बाद नमाज पढ़कर जब सभी लोग चले गए तब मौलाना नईम हर दिन की तरह कुछ बच्चों को ऑनलाइन उर्दू पढ़ाने में मशगूल हो गए. इसी दौरान मस्जिद के नजदीक में ही रहने वाले सरताज ने पुनः मस्जिद में प्रवेश किया और तमंचा निकालकर गोली चला दी.

लेकिन, उसका निशाना चूक गया. इसके तुरंत बाद सरताज ने दूसरा तमंचा निकाला और फिर से मौलाना पर निशाना साधकर गोली चला दी. फिर मौलाना को मरा हुआ समझकर वहां से भाग गया. गोली चलने की आवाज सुनकर मस्जिद के आसपास के लोग उस तरफ दौड़े. मौलाना को निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया.

स्थानीय लोगों के मुताबिक लगभग दो माह पहले सरताज मस्जिद में नमाज पढ़ने आया था, तब उसने टोपी गलत तरह से पहन रखी थी. एक बुजुर्ग ने उसकी टोपी सही कर दी थी. इस पर सरताज ने टोपी सही करने वाले बुजुर्ग पर जानलेवा हमला कर दिया था. जिस पर मस्जिद में उस वक्त मौजूद लोगों ने बुजुर्ग के साथ की गई बदसलुकी को लेकर उसकी पिटाई कर दी थी.

इतना ही नहीं तभी से मौलाना नईम और बुजुर्ग लोग सरताज से इस मस्जिद में नमाज पढ़ने का विरोध कर रहे थे. इस पूरे मामले में कई बार मौलाना नईम से सरताज की कहासुनी भी हुई थी. माना जा रहा है कि इसी रंजिश में सरताज ने रविवार को मस्जिद में आकर मौलाना को गोली मार दी. उसके पास दो तमंचे बताए जा रहे थे, जिनमें से एक तमंचा मस्जिद में ही पुलिस को मौके से मिला था.

एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह ने बताया कि उसकी गिरफ्तारी के लिए प्रयास किए जा रहे थे, लेकिन मेरठ पुलिस को दिल्ली पुलिस की तरफ से जानकारी मिली कि उन्होंने सरताज नामक युवक को अवैध तमंचा रखने के आरोप में गिरफ्तार किया है. क्योंकि सरताज ने मेरठ में जानलेवा हमला किया है, इसलिए दिल्ली पुलिस से उसे मेरठ लाने के लिए पुलिस प्रयास कर रही है. सरताज कपड़े बेचने का काम करता है. उसके व्यवहार की वजह से उसका परिवार से कोई लेना देना नहीं है.

ये भी पढ़ेंः मेरठ में मस्जिद में घुसकर मौलाना को गोली मारी, झाड़फूंक से फायदा न होने पर नाराज था हमलावर, तमंचा छोड़कर भाग निकला

मेरठ: यूपी के मेरठ में रविवार को मस्जिद में घुसकर मौलाना को गोली मार दी गई थी. हमलावर सरताज गोली मारकर फरार हो गया था. मेरठ पुलिस ने उसकी गिरफ्तारी के लिए टीमें बनाई थीं, जो उसकी तलाश में जुटी थीं. लेकिन, सरताज बेहद ही शातिर निकला. उसने मेरठ समेत गाजियाबाद की सीमा के बाहर तक तमंचे के साथ सफर किया और दिल्ली जाकर पुलिस के सामने सरेंडर कर दिया.

आलम यह है कि जानलेवा हमला करने वाला शख्स मेरठ से दिल्ली तक तमंचा लेकर गया और किसी को भनक तक नहीं लगी, वहीं नाटकीय ढंग से दिल्ली के गाजीपुर थाने की पुलिस ने उसे अवैध हथियार रखने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया.

जानकारी के मुताबिक रविवार को जब लिसाड़ी गेट थाना क्षेत्र अंतर्गत कासमी मस्जिद में नमाज हुई तब हमलावर सरताज चुपचाप मस्जिद के बाहर पहुंचा था. उसके बाद नमाज पढ़कर जब सभी लोग चले गए तब मौलाना नईम हर दिन की तरह कुछ बच्चों को ऑनलाइन उर्दू पढ़ाने में मशगूल हो गए. इसी दौरान मस्जिद के नजदीक में ही रहने वाले सरताज ने पुनः मस्जिद में प्रवेश किया और तमंचा निकालकर गोली चला दी.

लेकिन, उसका निशाना चूक गया. इसके तुरंत बाद सरताज ने दूसरा तमंचा निकाला और फिर से मौलाना पर निशाना साधकर गोली चला दी. फिर मौलाना को मरा हुआ समझकर वहां से भाग गया. गोली चलने की आवाज सुनकर मस्जिद के आसपास के लोग उस तरफ दौड़े. मौलाना को निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया.

स्थानीय लोगों के मुताबिक लगभग दो माह पहले सरताज मस्जिद में नमाज पढ़ने आया था, तब उसने टोपी गलत तरह से पहन रखी थी. एक बुजुर्ग ने उसकी टोपी सही कर दी थी. इस पर सरताज ने टोपी सही करने वाले बुजुर्ग पर जानलेवा हमला कर दिया था. जिस पर मस्जिद में उस वक्त मौजूद लोगों ने बुजुर्ग के साथ की गई बदसलुकी को लेकर उसकी पिटाई कर दी थी.

इतना ही नहीं तभी से मौलाना नईम और बुजुर्ग लोग सरताज से इस मस्जिद में नमाज पढ़ने का विरोध कर रहे थे. इस पूरे मामले में कई बार मौलाना नईम से सरताज की कहासुनी भी हुई थी. माना जा रहा है कि इसी रंजिश में सरताज ने रविवार को मस्जिद में आकर मौलाना को गोली मार दी. उसके पास दो तमंचे बताए जा रहे थे, जिनमें से एक तमंचा मस्जिद में ही पुलिस को मौके से मिला था.

एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह ने बताया कि उसकी गिरफ्तारी के लिए प्रयास किए जा रहे थे, लेकिन मेरठ पुलिस को दिल्ली पुलिस की तरफ से जानकारी मिली कि उन्होंने सरताज नामक युवक को अवैध तमंचा रखने के आरोप में गिरफ्तार किया है. क्योंकि सरताज ने मेरठ में जानलेवा हमला किया है, इसलिए दिल्ली पुलिस से उसे मेरठ लाने के लिए पुलिस प्रयास कर रही है. सरताज कपड़े बेचने का काम करता है. उसके व्यवहार की वजह से उसका परिवार से कोई लेना देना नहीं है.

ये भी पढ़ेंः मेरठ में मस्जिद में घुसकर मौलाना को गोली मारी, झाड़फूंक से फायदा न होने पर नाराज था हमलावर, तमंचा छोड़कर भाग निकला

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