नई दिल्ली/भुवनेश्वर: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अलावा केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल और कई अन्य शीर्ष सुरक्षा अधिकारी शुक्रवार से भुवनेश्वर में शुरू होने वाले बहुचर्चित डीजीपी-आईजीपी सम्मेलन में भाग लेंगे. बता दें कि खालिस्तानी अलगाववादी गुरपतवंत सिंह पन्नू द्वारा सम्मेलन को बाधित करने की धमकी वाला एक नया वीडियो संदेश प्रसारित किया गया है.
खालिस्तानी अलगाववादी समूह सिख फॉर जस्टिस (SFJ) के प्रमुख पन्नू ने एक वीडियो संदेश में अपने समर्थकों और सहानुभूति रखने वालों से “डीजी-आईजी सम्मेलन को बाधित करने के लिए भुवनेश्वर में मंदिरों-होटलों में छिपने” का आग्रह किया. भारत सरकार ने पहले ही पन्नू को गैरकानूनी गतिविधियां रोकथाम अधिनियम (UAPA) के तहत नामित आतंकवादी घोषित किया है.
अखिल भारतीय सुरक्षा सम्मेलन में भाग लेने के अलावा पीएम मोदी का भुवनेश्वर में बैठकों को संबोधित करने और रोड शो में भाग लेने का भी कार्यक्रम है. वहीं केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह शुक्रवार को भुवनेश्वर पहुंचेंगे और बैठक की अध्यक्षता करेंगे. गौरतलब है कि यह आयोजन ओडिशा में पहली बार हो रहा है. गृह मंत्रालय के एक अधिकारी के अनुसार, सम्मेलन में आंतरिक सुरक्षा, साइबर अपराध और माओवादी खतरे, एआई उपकरणों द्वारा उत्पन्न चुनौतियों जैसे कई महत्वपूर्ण सुरक्षा संबंधी मुद्दों पर चर्चा की जाएगी. अधिकारी ने बताया कि तीन दिवसीय सम्मेलन में अन्य मुद्दों के अलावा ड्रोनों के नवीनतम खतरों और आतंकवाद-रोधी कार्रवाई पर भी विस्तार से चर्चा की जाएगी.
सम्मेलन में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के पुलिस महानिदेशक तथा सभी केंद्रीय और राज्य सुरक्षा एजेंसियों के प्रमुख भी भाग लेंगे. सम्मेलन में खुफिया ब्यूरो के शीर्ष अधिकारी, सीआरपीएफ के महानिदेशक, रॉ, एनएसजी और एसपीजी के प्रमुख भी भाग लेंगे. गौरतलब है कि 2014 तक वार्षिक सम्मेलन परंपरागत रूप से दिल्ली में आयोजित किए जाते थे, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दृष्टिकोण के अनुसार अब इसे दिल्ली के बाहर आयोजित किए जाते हैं.
हालांकि केवल वर्ष 2020 में यह सम्मेलन वर्चुअल रूप से आयोजित किया गया था. यह सम्मेलन 2014 में गुवाहाटी, 2015 में धोर्डो, कच्छ के रण में, 2016 में राष्ट्रीय पुलिस अकादमी, हैदराबाद में, 2017 में बीएसएफ अकादमी, टेकनपुर में, 2018 में केवडिया में तथा 2019 में आईआईएसईआर, पुणे में तथा 2021 में लखनऊ में आयोजित किया जा चुका है. वर्ष 2022 का सम्मेलन जनवरी, 2023 में नई दिल्ली स्थित राष्ट्रीय कृषि विज्ञान परिसर में आयोजित किया गया था.
भुवनेश्वर के कई इलाके नो-फ्लाई और नो-ड्रोन जोन घोषित
राज्य पुलिस ने 29 नवंबर से 1 दिसंबर तक यहां अखिल भारतीय आईजीपी-डीजीपी सम्मेलन की मेजबानी के दौरान भुवनेश्वर के कई इलाकों को नो-फ्लाई और नो-ड्रोन जोन घोषित किया है. अधिसूचना के मुताबिक बीजू पटनायक अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट (बीपीआईए) क्षेत्र, राजभवन क्षेत्र, कार्यक्रम स्थल लोक सेवा भवन, मैत्रीविहार में आईपीएस मेस और बीपीआईए से राजभवन तक का मार्ग और राजभवन से लोक सेवा भवन, हवाई अड्डे से आईपीएस मेस और मैत्रीविहार और आईपीएस मेस से लोक सेवा भवन, भुवनेश्वर को 29 नवंबर से 1 दिसंबर तक ड्रोन/नो फ्लाइंग जोन घोषित किया गया है.
पन्नू के वीडियो पर पुलिस आयुक्त का टिप्पणी से इनकार
खालिस्तानी अलगाववादी गुरपतवंत सिंह पन्नू द्वारा बैठक को बाधित करने के लिए जारी की गई कथित धमकी के बारे में पूछे जाने पर पुलिस आयुक्त सुरेश देवदत्त सिंह ने कहा कि, 'मैं विशिष्ट वीडियो पर टिप्पणी नहीं करूंगा. सभी घटनाओं की जांच की जा रही है. निगरानी की जा रही है. हमारी सुरक्षा तैयार है. हमने सुरक्षा के इंतजाम किए हैं. एहतियाती कदम उठाए जा रहे हैं. सूचनाएं एकत्रित की जा रही हैं, लेकिन मैं सुरक्षा के बारे में ज्यादा कुछ नहीं कह सकता. उन्होंने कहा कि पुलिस अपने विशेष आतंकवाद विरोधी बल और खुफिया जानकारी के साथ उन्हें रोक सकती है.
सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम
सुरक्षा के मद्देनमजर राज्य पुलिस की करीब 72 प्लाटून और केंद्रीय बल की 12 कंपनियां समेत कुल 108 प्लाटून बल सुरक्षा के लिए तैनात किए गए हैं.
भुवनेश्वर में हाई अलर्ट
शहर हाई अलर्ट पर है और पुलिस एयरपोर्ट, बस स्टैंड और रेलवे स्टेशन समेत विभिन्न होटलों और गेस्ट हाउस पर कड़ी नजर रख रही है. राष्ट्र विरोधी गतिविधियों और आतंकवादी गतिविधियों को रोकने के लिए विशेष बलों और खुफिया जानकारी के आधार पर सुरक्षा तैयारियां की जा रही हैं. इसके साथ ही डॉग स्क्वॉड, बम निरोधक दस्ता और आतंकवाद निरोधक दस्ता भी अलर्ट पर है.
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