लखनऊ: राजधानी में 19 दिसंबर को हिंसा आगजनी व तोड़फोड़ को लेकर पुलिस ने तीनों मुख्य आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है. जिसमें से एक आरोपी वसीम को लखनऊ इंदिरा नगर और नदीम और अशफाक को बाराबंकी से गिरफ्तार किया गया है. तीनों के पास से पुलिस ने भारी मात्रा में पोस्टर, बैनर के साथ ही ऐसे पेपर, जिसमें एनआरसी के विरोध को लेकर पर्चे और रामजन्म भूमि- बाबरी मस्जिद से जुड़े कागज और उर्दू किताबें बरामद की हैं.
योजना बनाकर किया गया दंगा
एसएसपी लखनऊकलानिधि नैथानी ने बताया कि मुख्य आरोपी वसीम लखनऊ में रहकर 19 तारीख की हिंसा को लेकर प्लान बना रहा था. दो और आरोपी बाराबंकी से लखनऊ आए. इन तीनों ने मिलकर लखनऊ में हिंसा को अंजाम दिया. पुलिस ने जब इनके व्हाट्सएप खंगाले तो उसमें कई ऐसे ग्रुप मिले, जिसमें यह भड़काऊ भाषण लिखकर लोगों तक पहुंचाकर आगजनी के लिए उग्र कर रहे थे. पुलिस ने बताया कि इन लोगों ने योजनाबद्ध तरीके से इस घटना को अंजाम दिया और आगजनी फैलाई थी.
19 दिसंबर को राजधानी में नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में प्रदर्शनकारियों ने जमकर हिंसा की. पुलिस के अफसरों की लापरवाही और एलआईयू फेलियर की वजह से 19 दिसंबर को नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में दंगा भड़का था. दंगा भड़काने में प्रमुख भूमिका निभाने वाले दल पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया 6 महीने से राजधानी लखनऊ में सक्रिय था.
जुलाई और सितंबर महीने में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया के पोस्टर भी लगाए गए थे. पीएफआई के प्रदेश अध्यक्ष वसीम को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. जब लखनऊ पुलिस ने पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया के दो लोगों को पकड़ा तो खुलासा हुआ कि राजधानी में दंगा फैलाने में इसका हाथ था.