लखीमपुर खीरी: जिले में स्थित दुधवा टाइगर रिजर्व आज के बाद सैलानियों के लिए बंद हो जाएगा. मानसून के चलते दुधवा टाइगर रिजर्व का पर्यटन सत्र 15 जून को खत्म हो रहा. सैलानियों को शनिवार को सफारी कराने के बाद दुधवा के गेट पांच महीनों के लिए बन्द हो जाएंगे. सैलानियों ने भी इस बार टाइगर रिजर्व का खूब मजा लिया.
लखीमपुर खीरी: दुधवा नेशनल पार्क घूमने का आखिरी दिन आज
15 जून को आखिरी सफारी कराने के बाद सैलानियों के लिए दुधवा टाइगर रिजर्व के गेट अगले पांच महीने के लिए बंद हो जाएंगे. इसके बाद 15 नवंबर को टाइगर रिजर्व खोला जाएगा. बता दें के मानसून के चलते दुधवा टाइगर रिजर्व को बंद किया जा रहा है.
पांच महीनों के लिए बंद होगा दुधवा टाइगर रिजर्व.
ये है दुधवा टाइगर रिजर्व की खासियत
- 15 जून को आखिरी सफारी के बाद सैलानियों के लिए दुधवा टाइगर रिजर्व के गेट बंद कर दिए जाएंगे.
- 884 वर्ग किलोमीटर में फैले दुधवा टाइगर रिजर्व में बाघ के अलावा एक सींघ वाले गैंडे भी पाए जाते हैं.
- सैलानियों को इस बार गैंडा पुनर्वासन केंद्र में शावकों के साथ गैंडे भी देखने को मिल रहे हैं.
- प्राकृतिक नजारों से भरे दुधवा टाइगर रिजर्व में घड़ियाल और मगरमच्छ भी खूब हैं.
- इसके अलावा नेपाल से आए माइग्रेटरी हाथियों के बच्चे भी देखने को मिल रहे हैं.
- दुधवा टाइगर रिजर्व साल के घने वनों और अपने बड़े ग्रासलैंड की खूबसूरती के लिए भी दुनिया मे अनोखे पार्कों में गिना जाता है.
- यहां एक साथ पांच प्रकार के हिरणों की मौजूदगी इसे देश के अन्य टाइगर रिजर्व में खास बनाता है.
- दुधवा में बारहसिंघों की सबसे बड़ी कॉलोनी भी अपने आप में खास है.
- वहीं दुधवा टाइगर रिजर्व अब सैलानियों के लिए मानसून बाद 15 नवम्बर को खुलेगा.
यह पर्यटन सत्र दुधवा के लिए अच्छा रहा है. दुधवा को आकर्षक बनाने को लेकर कई नए प्रयोग किए गए, जो सैलानियों ने पसन्द भी किया. दुधवा आकर सैलानियों ने गैंडों, हाथियों और बाघों के फ्रीक्वेंटली मूवमेंट को देखा.
-रमेश पांडेय, डायरेक्टर, दुधवा नेशनल पार्क