बांदाः जिले में दिव्यांग बच्चों को मुख्य धारा से जोड़ने को लेकर दिव्यांगों के लिए 'दिव्यांग पथ' कार्यक्रम का आयोजन हुआ. इसमें सैकड़ों की संख्या में दिव्यांग बच्चों ने भाग लिया. साथ ही तरह-तरह के सांस्कृतिक कार्यक्रमों को प्रस्तुत कर लोगों का मन मोह लिया. यहां पर भजन गायन, नृत्य, योग, रैंप वाक समेत कई कार्यक्रम दिव्यांग बच्चों ने प्रस्तुत किए.
मुख्य अतिथि के तौर पर मौजूद रहे जगदगुरू रामभद्राचार्य
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर जगदगुरु रामभद्राचार्य मौजूद रहे. इस कार्यक्रम को देखने के लिए पुलिस प्रशासन और जनप्रतिनिधियों समेत हजारों की संख्या में लोग इकट्ठे हुए. जगद्गुरु रामभद्राचार्य ने दिव्यांग बच्चों के विकास को लेकर कहा कि हम दिव्यांग बच्चों के लिए केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाएंगे और बच्चों के विकास की सारी संभावनाओं को हम अपने विश्वविद्यालय में इकट्ठी करेंगे. इससे सारे विश्व का दिव्यांग इसी चित्रकूट की धरती को प्रणाम करेगा.
किसान आंदोलन को लेकर जगतगुरु रामभद्राचार्य ने कहा कि किसान अपनी हठधर्मिता छोड़ दें. जो 26 जनवरी को किसानों ने किया वह बहुत ही घिनौना कार्य था. उस दिन जहां झांकियों का अपमान किया गया तो वहीं तिरंगे का भी अपमान किया गया. रामभद्राचार्य ने कहा कि वह इस आंदोलन को आतंकवादियों के रूप में देख रहे हैं. सरकार यह कानून वापस नहीं लेगी.