अयोध्या : श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट पर महंगे दाम पर जमीन खरीद कर आर्थिक भ्रष्टाचार का आरोप लगाने वाले समाजवादी पार्टी के पूर्व विधायक तेज नारायण पांडे पवन ने एक और बड़ा सनसनी खेज आरोप लगाया है. सोशल मीडिया पर वीडियो जारी कर कहा कि अयोध्या में राम मंदिर जमीन घोटाले में कई अधिकारी और नेता शामिल हैं. पवन पांडे ने देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मांग की है कि वह जमीन खरीद-फरोख्त के पूरे मामले की सीबीआई जांच करा कर रामलला और राम भक्तों को न्याय दिलाएं.
क्या है आरोप
- सपा और आप का आरोप राम मंदिर के लिए जमीन खरीद के नाम पर करोड़ों का घोटाला
- 2 करोड़ की जमीन को ट्रस्ट ने साढ़े 18 करोड़ में खरीदा है.
- पहले जमीन की कीमत 2 करोड़ थी, लेकिन10 मिनट में ही डील पक्की हुई और वो कीमत हो गई साढ़े 18 करोड़.
- 10 मिनट के अंतराल में जमीन की कीमत साढ़े 16 करोड़ बढ़ गई.
- प्रति सेकेंड साढ़े पांच लाख रुपये महंगी होती गई जमीन और 10 मिनटों में कीमत में 9 गुना इजाफा हो गया.
'किसानों को नहीं मिल रहा सर्किल रेट पर मुआवजा'
रविवार को श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट पर दो करोड़ में खरीदी गई जमीन को 18 करोड़ पचास लाख में खरीदने का आरोप लगा. इस आरोप के जवाब में ट्रस्ट ने कहा है कि खरीदी गई जमीन बाजार कीमत के आधार पर खरीदी गई है और कहीं से कोई भ्रष्टाचार और अनियमितता नहीं बरती गई है. इस जवाब पर पवन पांडे भड़क गए और उन्होंने कहा- "अगर बाजार रेट पर ही जमीन खरीदना और बेचना है तो श्रीराम एयरपोर्ट के नाम पर जिन किसानों की जमीनें अधिग्रहित की जा रही हैं, उन्हें बाजार रेट क्यों नहीं दिया जा रहा. आखिर क्यों उन्हें सर्किल रेट के नाम पर उलझाया जा रहा है. जबरिया उनकी जमीनें हड़पी जा रही हैं. उन्हें कार्रवाई का डर दिखाया जा रहा है." पवन पांडे ने आरोप लगाया कि ट्रस्ट के लोगों को जहां अपनी जेब भरनी है. वहां बाजार रेट पर जमीन खरीद रहे हैं, जबकि सरकार अयोध्या के धर्मपुर गांव के किसानों को वाजिब मुआवजा नहीं दे रही है. जबरिया उनकी जमीन अधिग्रहित की जा रही है.
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