जौनपुर:लोकसभा चुनाव 2019 के लिए मतदान प्रतिशत बढ़ाना निर्वाचन आयोग के लिए एक बड़ी चुनौती है. इस बार मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए निर्वाचन आयोग की तरफ से कई अभियान चलाए जा रहे हैं. आज जौनपुर में जिलाधिकारी ने एक अलग तरह के अभियान की शुरुआत करने की पहल की. घरेलू रसोई वाले गैस सिलेंडरों पर स्टीकर लगाकर मतदान करने की अपील की. लेकिन जिलाधिकारी कार्यालय परिसर में आयोजित इस कार्यक्रम में उज्जवला गैस के सिलेंडरों पर इस तरह के प्रचार करने पर अधिवक्ताओं ने विरोध किया. अधिवक्ताओं ने आरोप लगाया कि, जिला प्रशासन सरकार की योजनाओं का प्रचार करके भाजपा को लाभ पहुंचाने की कोशिश कर रहा है. जिसके चलते इस कार्यक्रम को स्थगित कर दिया गया.
जौनपुर: उज्जवला गैस सिलेंडरों पर स्टीकर चस्पा कर की गई वोट देने की अपील, वकीलों ने किया विरोध
इस बार लोकसभा चुनाव में मतदान का प्रतिशत बढ़ाने के लिए निर्वाचन आयोग कई तरह के अभियान चला रहा है. आज जौनपुर में रसोई सिलेंडरों में मतदान करने की अपील का पर्चा चस्पा किया गया, जिसका अधिवक्ताओं ने विरोध किया.
जौनपुर लोकसभा सीट पर 2014 में मतदान का प्रतिशत 50 फीसदी से कम था, जिसके चलते इस बार जिलाधिकारी ने एक अलग तरह के अभियान की शुरुआत की है. घर घर पहुंचने वाले घरेलू गैस के सिलेंडरों पर मतदान करने की अपील का एक स्टीकर लगाया गया है. आज एक कार्यक्रम के तहत इसकी शुरूआत होनी थी, लेकिन उज्जवला गैस के सिलेंडरों पर लगाए गए इस तरह के स्टीकर का अधिवक्ताओं ने विरोध किया. अधिवक्ताओं का कहना है कि प्रशासन उज्जवला गैस लिखे हुए सिलेंडरों पर स्टीकर लगाकर सरकार की योजना का प्रचार कर रही है, जो की आचार संहिता का खुले तौर पर उल्लंघन है. अधिवक्ताओं के इस विरोध के चलते पूरा कार्यक्रम स्थगित कर दिया गया.
अधिवक्ता संघ के उपाध्यक्ष उदय प्रताप सिंह ने जिला प्रशासन के स्टीकर अभियान का विरोध किया. उनका कहना है कि प्रशासन मतदान करने की अपील तो कर रहा है, लेकिन उज्जवला गैस लिखे सिलेंडरों का इसमें प्रयोग किया जा रहा है, जो की आचार संहिता का उल्लंघन है और यह प्रधानमंत्री की योजना का प्रचार है.