बूंदी.कोरोना वायरस को लेकर लॉकडाउन जारी है. इस लॉकडाउन के बीच बूंदी की एक व्याख्याता की सराहनीय पहल सामने आई है. जिले के हायर सेकेंडरी स्कूल में उर्दू की व्याख्याता रजिया खातून ने अपनी 1 महीने की तनख्वाह को गरीबों के राशन के लिए लगा दिया है. साथ ही रजिया रोज गरीब परिवारों के घरों को चिन्हित कर अपनी टीम के साथ उनके घरों में पहुंचती हैं और राशन मुहैया कराती हैं. रजिया के इस पहल से प्रेरित होकर कई शहरवासी भी मदद को आगे आ रहे हैं.
वहीं सरकार और समाजिक संस्थाएं अपने स्तर पर गरीब मजदूरों को राहत पहुंचाने का काम कर रही है. ईटीवी भारत भी लगातार इन सामाजिक संस्थाओं की खबरों को प्रमुखता से प्रकाशित भी कर रहा है. बूंदी निवासी रजिया खातून बूंदी शहर के हायर सेकेंडरी स्कूल में उर्दू की व्याख्याता है. जब से लॉकडाउन हुआ है, तब से रजिया खातून ने स्काउट गाइड के माध्यम से अपनी टीम को तैयार किया. वे रोज अपनी तनख्वाह से राशन सामग्री को खरीद इस टीम के माध्यम से किट तैयार करवाती हैं. उसके बाद घरों को चिन्हित कर वहां पर गरीब परिवारों को राशन किट मुहैया करवाती हैं. पिछले 22 मार्च से गरीबों की मदद का लगातार जारी है. रोज सुबह 10 बजे से स्काउट गाइड भवन बूंदी में यह टीम जुड़ती है और सूखी राशन सामग्री को चिह्नित परिवार को देने के लिए पैकेट बनाना शुरू कर देती है.
नेक काम में स्काउट गाइड बना मददगार
टीम 3 घंटे की मशक्कत के बाद राशन किट तैयार करती है. वहीं 1 दिन पहले सर्वे किए गए घरों में दूसरे दिन राशन सामग्री पहुंचाई जाती है. रजिया खातून बूंदी स्काउट गाइड परिवार से भी जुड़ी हुई हैं. उन्हीं परिवार के सदस्यों की मदद से वे घरों-घरों तक राशन सामग्री पहुंचाती हैं. रजिया ने ईटीवी भारत से बातचीत में कहा कि देश में गरीब परिवार अधिक है. उन्होंने लॉकडाउन के साथ ही ठान लिया था कि वह इन गरीब परिवारों की मदद करेंगी. इसी के साथ राशन बांटना शुरू किया और स्काउट गाइड की मदद ली.