नागौर. इंदिरा गांधी नहर बंदी के दौरान शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में टेल एंड तक सुचारू पेयजल आपूर्ति के लिए कलेक्ट्रेट सभागार कक्ष में जिला कलेक्टर डॉ. जितेंद्र सोनी की अध्यक्षता में एक बैठक आयोजित हुई. बैठक में जिला कलेक्टर ने पीएचईडी के अधिकारियों को निर्देशित किया कि नहरबंदी के दौरान पेयजल सम्बंधी व्यवस्थाओं की निरंतर मॉनिटरिंग करे, ताकि लोगों को किसी प्रकार की परेशानी नहीं हो.
उन्होंने कहा कि गर्मी के बढ़ते प्रभाव और कोरोना के कारण उपजी परिस्थितियों को देखते हुए आने वाला समय चुनौतीपूर्ण है. ऐसे में नहरबंदी को देखते हुए जलदाय के अधिकारी सर्तकता और सजगता के साथ पेयजल प्रबंधन की जिम्मेदारी निभाएं. उन्होंने पेयजल की गुणवत्ता पर भी बराबर फोकस करने के निर्देश दिए.
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डॉ. जितेंद्र सोनी ने कहा कि जलदाय विभाग की ओर से गर्मिर्यों में कंटीजेंसी प्लान और टैंकर्स के माध्यम से जल परिवहन व्यवस्था (टीओडब्ल्यू-ट्रांसपोर्टेशन ऑफ वाटर) के लिए आवश्यक स्वीकृतियां पहले जारी की जा चुकी है. जिले में कंटीजेंसी प्लान के तहत स्वीकृत कार्यों को निर्धारित समयावधि में पूरा कर लोगों को गर्मी के मौसम में राहत दी जाए. साथ ही नए निर्मित नलकूपों और बरनावा पम्पिंग स्टेशन का विद्युत विभाग की ओर से शीघ्र विद्युतीकरण करने लिए निर्देशित किया जाएगा.
नागौर शहर में पेयजलापूर्ति को सुचारू रखने के लिए और लोगों की ओर से बताई जा रही विभिन्न समस्याओं के शीघ्र समाधान के लिए नगर परिषद के अधिकारियों को सतत रूप से तत्परता के साथ कार्य करने के लिए निर्देशित किया. शहर में अमृत मिशन के तहत चल रहे कार्यों की प्रगति पूर्व में दिए गए निर्देशानुसार नहीं होने पर कलेक्टर महोदय की ओर से नाराजगी जाहिर की गई और फर्म के विरुद्ध नियमानुसार कार्रवाई करने के लिए निर्देशित किया गया. साथ ही शेष रहे कार्यों को शीघ्र पूर्ण करने के लिए कहा गया.