जयपुर. बिजली संकट से जूझ रहे राजस्थान के किसानों के सामने चारे का संकट (Fodder Crisis for Rajasthan Farmers) पैदा हो गया है. राजस्थान के किसान पंजाब, हरियाणा और मध्य प्रदेश से आने वाले चारे के ऊपर ही निर्भर रहते थे और पशुपालको का सबसे बड़ा आधार भी यही था, लेकिन वहां की सरकारों ने राजस्थान में चारे को आने पर प्रतिबंधित किया है. किसानों कि इस समस्या के समाधान के लिए भाजपा प्रदेश अध्यक्ष 1 मई को मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह से मुलाकात कर समस्या के समाधान का प्रयास करेंगे. भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ने इस संंबंध में हरियाणा के सीएम और एमपी के सीएम को पत्र भी लिखा है.
इससे पहले सतीश पूनिया ने पड़ोसी राज्यों के मुख्यमंत्रियों को पत्र लिखकर किसानों की चिंता के समाधान का आग्रह भी किया है. वहीं, गहलोत सरकार के किसानों की इस समस्या के समाधान को लेकर अब तक कोई कदम नहीं उठाए जाने पर भाजपा ने अपनी आपत्ति जताई है. भाजपा प्रदेश प्रवक्ता रामलाल शर्मा ने कहा कि आज प्रदेश का किसान, आम जनता बिजली संकट और पावर कट से जूझ रही है और अब किसानों के सामने चारे का संकट खड़ा हो गया है. ऐसी स्थिति में प्रदेश सरकार और मुख्यमंत्री को चाहिए कि अन्य प्रदेशों की सरकार से संपर्क कर इस समस्या का समाधान कराएं, लेकिन सरकार के स्तर पर ऐसा कुछ नहीं किया जा रहा, जो अफसोस जनक है.