जयपुर. छबड़ा विधायक व पूर्व मंत्री प्रताप सिंह सिंघवी ने राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के एनडीए से अलग होने के फैसले का स्वागत किया है. उन्होंने कहा कि पार्टी के मुखिया और नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल शुरुआत से ही गठबंधन धर्म का पालन नहीं कर रहे थे. वे भाजपा के प्रदेश नेतृत्व की चेतावनी के बावजूद राजस्थान में पार्टी की सर्वमान्य नेता पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के खिलाफ लगातार अनर्गल बयानबाजी कर रहे थे. यही नहीं उन्होंने पंचायत और निकाय चुनाव में भी भाजपा के खिलाफ प्रत्याशी खड़े किए. इस स्थिति में उनके एनडीए में बने रहने का कोई औचित्य नहीं था.
वसुंधरा समर्थक विधायक प्रताप सिंघवी बोले- बेनीवाल के एनडीए छोड़ने का स्वागत, सांसद पद से भी इस्तीफा दें
कृषि कानूनों के विरोध करते हुए आरएलपी सांसद हनुमान बेनीवाल ने एनडीए से अलग होने का फैसला किया है. छबड़ा विधायक व पूर्व मंत्री प्रताप सिंह सिंघवी ने बेनीवाल के इस फैसले का स्वागत किया है. उन्होंने कहा कि बेनीवाल को एनडीए में रहने का कोई औचित्य नहीं था. उन्हें इस्तीफा देकर अपने बूते चुनाव लड़ना चाहिए.
वसुंधरा समर्थक विधायक प्रताप सिंघवी बोले बेनीवाल के एनडीए छोड़ने का स्वागत
सिंघवी ने कहा कि हनुमान बेनीवाल के एनडीए से अलग होने से भाजपा को कोई नुकसान नहीं होगा, बल्कि राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी को इसकी राजनीतिक कीमत चुकानी पड़ेगी. बेनीवाल का प्रदेश के कुछ इलाकों में सीमित प्रभाव है. उन्होंने कहा कि बेनीवाल भाजपा की मदद से नागौर से सांसद का चुनाव जीते थे. यदि उन्हें कोई गलतफहमी हो तो उनको इस्तीफा देकर अपने बूते चुनाव लड़ना चाहिए.