रायसेन। जिले में 1 मार्च से समर्थन मूल्य पर अरहर की खरीदी शुरू होनी थी, लेकिन खाद्य विभाग की लापरवाही के चलते बरेली कृषि उपज मंडी में अभी तक खरीदी शुरू नहीं हो सकी है, जिसके चलते किसान परेशान हैं. बता दें जिले के करीब ढाई हजार किसानों ने अरहर की फसल बेचने के लिए पंजीयन कराया है, लेकिन15 दिन बीत जाने के बाद भी अब तक सेवा सहकारी संस्था मंडी परिसर में खरीदी शुरु नहीं हो पाई है.
रायसेन: खाद्य विभाग की लापरवाही से नहीं शुरू हुई फसल की खरीद, 1 मार्च से समर्थन मूल्य पर होनी थी खरीदी - रायसेन
खाद्य विभाग की लापरवाही से अभी तक नहीं शुरू हुई फसल की खरीद, 1 मार्च से समर्थन मूल्य पर होनी थी खरीदी, कृषि मंडी में फसल ओने-पौने दामों में बेचने को मजबूर है किसान
एक बार फिर किसानों की परेशानी बढ़ती नजर आ रही है. दरअसल, सरकार ने तुवर (अरहर) समर्थन मूल्य पर खरीदने का फैसला लिया था जिसके लिए बरेली मंडी परिसर में एक केंद्र बनाया गया है. जिसकी जिम्मेदारी सेवा सहकारी समिति को दी गयी है लेकिन लापरवाह सोसाइटी प्रबंधक की वजह से अभी तक तुवर की खरीदी शुरू नहीं हो सकी है, जिसके बाद अब किसान अपनी तुवर की फसल कृषि मंडी में ओने-पौने दामों में बेचने को मजबूर हैं.
गौरतलब है कि बीते साल समर्थन मूल्य की अरहर, मूंग की खरीदी विवादों में रही थी. कृषि उपज मंडी में उपज से ज्यादा अरहर और मूंग बिकने के चलते खाद्य अधिकारी सतीश राय पर इसके आरोप लगे थे. इसके बावजूद फिर से इस बार वे खरीदी करवाएंगे. मार्च महीने के पन्द्रह दिन बीत गए लेकिन अभी तक खरीदी शुरू नहीं हुई, वहीं 1 अप्रैल से गेहूं की खरीदी शुरू होनी है, ऐसे में फिर एक बार किसानों को परेशानी का सामना करना पड़ सकता है.