शिमला:कोरोना संकट के इस क्रूर समय में कई बच्चों के सिर से मां और पिता का साया छिन गया है. इस दुखद समय में कई महिलाओं का सुहाग मिट गया. परिवार में कमाने वाला नहीं रह गया. ऐसे विकट समय में प्रदेश सरकार दुख में डूबे अनाथ बच्चों को सहारा देगी. जिन महिलाओं का सुहाग मिट गया, उन्हें भी संबल मिलेगा.
जयराम सरकार अनाथ बच्चों के नाम पांच लाख रुपए फिक्स डिपॉजिट करेगी. इसके अलावा विधवा महिलाओं को भी दो लाख रुपए की एफडी का लाभ दिया जाएगा, ताकि वे आर्थिक तंगी के कारण और परेशान न हों. हाल ही में सोमवार को कैबिनेट मीटिंग में इस राहत योजना पर चर्चा हुई है. जल्द ही इसका ऐलान किया जाएगा. इसके अलावा सरकार अनाथ बच्चों को 2500 रुपए महीना भी देगी. ये रकम हर महीने उन बच्चों को तब तक मिलेगी, जब तक वे बालिग नहीं हो जाते.
अनाथ बच्चों का भविष्य संवारना चाहती है सरकार
यही नहीं, कोविड-19 के कारण जिन साधनहीन परिवारों को गुजारा करने में मुश्किल आ रही है, उनके लिए भी सरकार मदद योजना तैयार करेगी. वैसे तो देश के कई राज्यों की सरकारों ने राहत का ऐलान किया है. कई राज्यों में मुआवजा भी दिया जा रहा है, लेकिन हिमाचल सरकार अनाथ बच्चों के लिए कुछ ऐसा करना चाहती है, जिससे उनके भविष्य को संवारा जा सके. सभी संबंधित विभागों और मंत्रियों से भी सरकार ने सुझाव मांगे हैं कि इस राहत योजना को क्या रूप दिया जाए. एफडी कितने समय के लिए की जाए.
सरकार का विचार है कि कम से कम पांच साल की एफडी हो तो ब्याज की रकम भी मिल सके. वहीं, जरूरत पडऩे पर मुख्यमंत्री राहत कोष से भी प्रभावित परिवारों को मदद का प्रावधान है. विधवा महिलाओं को पेंशन योजना का भी लाभ मिलेगा. दुखद ये है कि कोरोना की दूसरी लहर में हिमाचल में मौत का आंकड़ा भयावह रूप से बढ़ा है.
समाजसेवी संस्थाएं भी कर रही मदद