Haryana Faridabad Tree Man Jaswant Pawar: प्यार से लेकर परिवार, दोस्तों के नाम से पौधे लगाने वाला ट्री मेन, दो लाख पौधे लगाए,डेढ़ लाख से ज्यादा बड़े किए
Haryana Faridabad Tree Man Jaswant Pawar इन दिनों फरीदाबाद के ट्री-मेन जसवंत पवार काफी चर्चा में हैं. इनको ट्री मेन इसलिए बोला जा रहा है क्योंकि ये दो लाख से ज्यादा पौधे लगा चुके है. पौधे लगाने के साथ सबसे बड़ी बात ये है कि डेढ़ लाख से ज्यादा पौधे ये बड़े कर चुके हैं.ट्री-मेन प्यार, परिवार के सदस्यों और दोस्तों के नाम से भी पौधे लगाते हैं. इनका कहना है कि प्यार के नाम से पौधे लगाने से वो हमेशा हमारे साथ रहता है.(Tree On Name Of Love Friends Family)(Faridabad Air Pollution)
फरीदाबाद के ट्री मेन जसवंत पवार ने लगाए दो लाख से ज्यादा पौधे
फरीदाबाद के ट्री-मेन से ईटीवी भारत की खास बातचीत सुनिए
फरीदाबाद:फरीदाबाद में वायु प्रदूषण (Faridabad Air Pollution) लगातार बढ़ रहा है.इसकी वजह से फरीदाबाद का एअर क्वालिटी इंडेक्स (Faridabad Air Quality Index) जब तब बढ़ जाता है. अपने शहर की इस समस्या से ही यहां के रहने वाले जसवंत पवार को प्रेरणा मिली थी. अब उन्होंने इतने पौधे लगा दिए हैं कि लोग उनको ट्री-मेन कहने लगे हैं. दो लाख से ज्यादा पौधे लगाने वाले ट्री-मेन जसवंत की अपनी फिलॉसफी भी है. वो कहते हैं प्यार के नाम से पौधा लगाना चाहिए (Tree On Name Of Love Friends Family). जिससे वो हमेशा पास रहता है.छोड़कर नहीं जाता है.
दो लाख से ज्यादा पौधे लगाए:जसवंत पवार से ईटीवी भारत ने बात की. उन्होंने बताया,' अब तक तमिलनाडु, राजस्थान, यूपी और केरल में हमने पौधे लगाएं हैं. करीब दो लाख से ज्यादा पौधे लगाए जा चुके हैं. पौधे लगाना आसान है. उनको बड़ा करना मुश्किल होता है. हम लोगों ने डेढ़ लाख से ज्यादा पौधों को बड़ा भी किया है.' वैसे ट्री-मेन का पसंदीदा पौधा पीपल का है. उनका कहना है कि ये हमेशा ताजी हवा देता है. इसलिए वो इसको पसंद करते हैं. बाकी बरगद, कदम, नीम आदि के पौधे भी वे लगाते हैं.
कहां लगाते हैं पौधे ?:फरीदाबाद में कई जगह पौधे लगाए गए लेकिन सभी पौधे बड़े नहीं हो पाए. इस नजरिए से ट्री-मेन जसवंत पवार की अपनी रणनीति है. वे कहते हैं,'हमने पहले जो पौधे लगाए उनकी देखरेख नहीं हो पाती थी. उनको पानी नहीं मिल पाता था. इस वजह से हमारी संस्था सांसे फाउंडेशन ने अब तय किया है कि सरकारी जमीन और बाउंड्री वॉल से घिरी जमीन पर पौधे लगाएंगे. इस रणनीति के कारण हमने इंडस्ट्रीयल मॉडल टाउनशिप फरीदाबाद (IMT) फरीदाबाद में कई पौधे लगाए, जो अब बड़े हो गए.अब हम लोगों से कह रहे हैं. अपने जन्म दिन पर एक पौधा लगाइए,उसकी देखरेख कीजिए, पौधे हमारी संस्था देगी.' इस काम की प्रेरणा भी जसंवत को फरीदाबाद शहर और अपने परिवार से मिली.
परदादा से मिली प्रेरणा:जसवंत पवार बताते हैं कि उनके परदादा जगह-जगह पानी के प्याऊ लगाते थे.वे प्याऊ की जगह पर एक पौधा भी लगाते थे. उनके हाथों से लगे सैकड़ों पौधे अब बड़े पेड़ बन चुके हैं. जसवंत ने उनको ही देखकर पौधा लगाना शुरू किया. इसके अलावा एक दिन जब वे कॉलेज जा रहे थे. उस दौरान उनकी आंखों में जलन हुई. जलन प्रदूषण की वजह से हुई थी.इसके बाद उन्होंने सब कुछ छोड़कर पौधे लगाने का काम शुरू कर दिया. लॉकडाउन के दौरान वे जानवरों को खाना देने के लिए अरावली के पहाड़ों में जाया करते थे.तब उन्होंने देखा था कि पहाड़ पर पेड़ों की संख्या कम हो गई है.इसकी वजह से पशु पक्षी काफी दिक्कत में हैं. इसके बाद पहाड़ पर भी हजार से ज्यादा पौधे लगाए.
प्यार के नाम पर पौधा: जसवंत पवार ने बताया कि इन कामों में फंडिंग की समस्या भी आती है लेकिन इसके बाद भी टीम अपनी पॉकेट मनी को बचाकर पौधे लगाती है.दोस्त भी इस काम में मदद करते हैं.कई संस्थाएं भी पौधे देती हैं. अब कई लोग हमसे जुड़ चुके हैं. उनका आगे कहना था कि नौजवान प्यार के चक्कर में रहते हैं. फिर वे दुखी भी हो जाते हैं. ऐसे युवाओं से कहना चाहूंगा,'प्यार के नाम पर ही सही लेकिन एक पौधा जरूर लगाएं. प्यार नहीं मिल पाया तो कम से कम उसके नाम का पौधा तो रहेगा. परिवार और दोस्तों के नाम से भी मैंने पौधे लगाएं हैं.कई बार दोस्त व्यस्त रहते हैं तो मैं उनके नाम के पौधे से आकर बात करता हूं.' इन सब से हटकर जसवंत पवार फरीदाबाद में एक आयुर्वेदिक वन भी बनाने जा रहे हैं.इसका काम शुरू हो चुका है.इसमें आयुर्वेदिक पौधे रहेंगे. जो लोगों के इलाज में मदद करेंगे.