भिवानी: किसानों को सरकार ने सौगात दी थी कि इस बार हरियाणा में कपास की खेती करने वाले किसानों को प्रोत्साहन राशि दी जाएगी. शर्त ये है कि किसानों को केवल देसी कपास की किस्म लगानी पड़ेगी. किसानों को देसी कपास की बुआई करने पर सरकार द्वारा विशेष तौर पर तीन हजार रुपये प्रति एकड़ प्रोत्साहन राशि दी जायेगी. प्रदेश सरकार के तुरंत आदेश के बाद बड़ी संख्या में किसान कपास के बीज और खाद लेने के लिए दुकान पहुंच रहे हैं, लेकिन भिवानी में खाद की फिर से किल्लत हो गई है.
जिससे किसानों को परेशानी हो रही है. जिसकी वजह से किसानों को देसी कपास की जह अंग्रेजी यानी बीटी कॉटन की खेती करनी पड़ रही है. किसान पिछले कई वर्षों के बाद खाद-बीज की दुकान पर देशी कपास का बीज मांग रहे है, लेकिन उन्हें दुकानों में बीज उपलब्ध ही नही हो रहा है. किसानों का कहना है कि सरकार ने इस बार देशी कपास बिजने के लिए प्रोत्साहन कर तो रही है, लेकिन पिछले एक महीने से बीज मार्किट में उपलब्ध नही है.
किसानों का कहना है कि सरकार ने इस बार देशी कपास बिजने के लिए प्रोत्साहन कर तो रही है, लेकिन पिछले एक महीने से बीज मार्केट में उपलब्ध नहीं है. जिस कारण से उन्होंने परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. वहीं किसानों ने सरकार से बीज उपलब्ध करवाने की मांग रखी है. वहीं बीज भंडार के संचालकों को कहना है कि सरकार की घोषणा के बाद बीज मार्किट में आया था, लेकिन मार्किट में भारी डिमांड के चलते बीज बिक गया है.