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दिल्ली के असोला भाटी जंगल में दिखे लेपर्ड के दो बच्चे, वन विभाग उत्साहित

दिल्ली के असोला भाटी माइंस सेंचुरी में कुछ दिन पहले लेपर्ड के दो बच्चों को देखा गया है. इन बच्चों की उम्र एक महीने से भी कम है. इनको देखने के बाद वन विभाग ने खुशी जाहिर करते हुए कहा कि यह जंगल जानवरों के लिए अनुकूल है. (asola bhatti sanctuary in Delhi)

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असोला भाटी जंगल

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Published : Jan 5, 2023, 9:20 PM IST

असोला भाटी माइंस सेंचुरी

नई दिल्ली : दिल्ली के असोला भाटी माइंस सेंचुरी में लेपर्ड के दो शावक को देखा गया है, जो लगभग एक महीने का है. इस खबर के मिलने के बाद वन विभाग ने खुशी जाहिर की है. वन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि लेपर्ड या कोई जंगली जानवर उसी जगह ब्रीड करता है, जहां पर अच्छा माहौल होता है. यानी जानवरों के लिए सकारात्मक परिस्थिति, जहां उनके रहने खाने का कोई दिक्कत न हो.

विभाग के अधिकारी ने बताया कि इस पूरे सेंचुरी में कई जगह कैमरे लगाए गए हैं, जिससे जानवरों के बारे में अंदाजा लगाया जाता है. इस सेंचुरी में लगभग 8 लेपर्ड है. उनकी संख्या लगातार बढ़ रही है. इसके लिए वन विभाग कई दिनों से काम कर रहा है. इसके अंतर्गत जंगलों की सुरक्षा, जंगलों में मानव की एंट्री, जंगलों का इनकरेजमेंट, हर एक एंगल से जंगल को बचाने के लिए दिल्ली का वन विभाग कार्य कर रहा है. साथ ही साथ फॉरेस्ट विभाग के अधिकारी और कर्मचारी हर वक्त जंगल के इलाके में लगातार पेट्रोलिंग करते हैं. किसी तरह की कोई अनहोनी न हो इसके लिए वह 24 घंटे तत्पर होकर काम करते रहते हैं.

वन विभाग के अधिकारी ने बताया कि अगर किसी रिहायशी इलाके में लेपर्ड दिखता है तो उससे दूरी बनाकर रखें और वन विभाग के टोल फ्री नंबर पर कॉल करके उसकी सूचना दें. वन अधिकारी के मुताबिक, पिछले कुछ सालों में असोला के जंगलों को जानवरों के रहने के अनुरूप तैयार किया गया है. जिसका नतीजा है कि अब इस जंगल में अच्छे खासे जानवर हो गए हैं. आने वाले दिनों में इसकी और वृद्धि होने की संभावना है.

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वन विभाग पर्यावरण के हिसाब से हर साल इस जंगल में पौधरोपण करती है. साथ ही जंगल में किसी भी तरह के आवाजाही पर पाबंदी लगा रखी है. इसके कारण ये जंगल काफी हरा भरा हो गया है. इसका फायदा दिल्ली के पर्यावरण और यहां पर रहने वाले जानवरों दोनों के लिए सुरक्षित हो गया है.

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