मुंबई : 80 और 90 के दशक में बॉलीवुड के कॉमेडी किंग कहे जाने वाले जॉनी लीवर 14 अगस्त को अपना 62वां बर्थडे मना रहे हैं. इस खास मौके पर चलिए जानते हैं उनसे जुड़ी कुछ खास बातें....
Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. स्टेज शो पर बतौर मिमिक्री कलाकार अपने करियर की शुरुआत करके हास्य अभिनेता के रूप में सफलता की बुलंदियों तक पहुंचने वाले हिन्दी सिनेमा के सुप्रसिद्ध अभिनेता जॉनी लीवर अपने जबरदस्त अभिनय से आज भी दर्शकों के दिलों पर राज कर रहे है.
Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. जॉनी लीवर मूल नाम जान राव प्रकाश राव जानुमाला का जन्म 14 अगस्त 1957 को आंधप्रदेश में हुआ था. उन्होंने अपनी प्रारंभिक शिक्षा आंध्र के एक तेलगु स्कूल से पूरी की. घर की आर्थिक स्थिति खराब रहने के कारण जॉनी लीवर को अपनी स्कूल की पढ़ाई बीच में ही छोड़ देनी पड़ी. इसके बाद वह अपने पिता के काम में हाथ बंटाने लगे.
Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. बचपन के दिनों से ही जॉनी लीवर का रूझान फिल्मों की ओर था और वह जॉनी वाकर .महमूद और किशोर कुमार की तरह हास्य अभिनेता बनना चाहते थे. इसी दौरान उनकी मुलाकात मिमिक्री कलाकार राम कुमार से हुई. उन्होंने जॉनी लीवर की प्रतिभा को पहचानकर उन्हें बतौर मिमिक्री कलाकार काम करने की सलाह दी.
Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. इस बीच जॉनी लीवर मुंबई आ गए और अपने पिता के साथ हिंदुस्तान लीवर कंपनी में काम करने लगे. कंपनी में जॉनी लीवर अक्सर नामचीन अभिनेता की आवाज की नकल करके अपने साथियों का मनोरंजन करते थे. एक बार कंपनी के वार्षिक समारोह में जॉनी लीवर को अपने मिमिक्री कार्यक्रम पेश करने का मौका मिला. उनके कार्यक्रम को देख उनके साथी और मालिक काफी प्रभावित हुये और उनका नाम जॉनी लीवर रख दिया.
Birthday Special: कॉमेडी के बेताज बादशाह जॉनी लीवर की कहीं अनसुनी बातें.. इसके बाद जॉनी लीवर स्टेज पर भी अपने मिमिक्री के कार्यक्रम पेश करने लगे. इसी दौरान उनकी मुलकात संगीतकार जोड़ी कल्याणजी -आनंद जी से हुई. उन्हें वर्ष 1982 में कल्याणजी -आनंद जी और अमिताभ बच्चन के साथ विश्व भर में संगीतमय कार्यक्रम के टूर में हिस्सा लेने का मौका मिला.