चिक्कबल्लापुरा : ड्रोन दवा ले जाने का यह देश का पहला परीक्षण है और 30 से 45 दिनों तक इसका परीक्षण किया जाएगा. इस पहल का नेतृत्व पहले से ही बेंगलुरु में टीएएस संगठन द्वारा किया जा रहा है और नारायण हेल्थकेयर 21 जून को टीएएस के साथ साझेदारी कर रहा है.
टीएएस के अलावा हनीवेल एयरोस्पेस जैसी कंपनियां भी हैं, जो इसमें विशेषज्ञता रखती हैं. दवाओं के हवाई परिवहन के लिए मेडकैप्टर और टीएएस के रैंडिंट जैसे पेशेवर ड्रोन अनुप्रयोगों का उपयोग किया जाता है. छोटी क्षमता वाला मेडकैप्टर 1 किलो वजन 15 किमी की दूरी तक ले जा सकता है. Randint 12km की दूरी के लिए 2kg ले जा सकता है.