हैदराबाद : उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और गुजरात समेत कई राज्यों ने श्रमिक कानून में बदलाव किए हैं. इसे लेकर मजदूर संघों का विरोध जारी है. विरोध करने वालों में भारतीय मजदूर संघ भी शामिल है. यह आरएसएस की आनुषांगिक संस्था है. बीएमएस ने 20 मई से देशव्यापी प्रदर्शन करने का फैसला किया है. बीएमएस के महासचिव वीरजेश उपाध्याय ने ईटीवी भारत के साथ बातचीत में विरोध करने की वजह बताई है.
भारतीय मजदूर संघ के राष्ट्रव्यापी विरोध की क्या है वजह, आइए जानें
भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) ने नए श्रमिक कानून का विरोध किया है. विरोध के मुद्दे पर बीएमएस का पक्ष जानने के लिए ईटीवी भारत के रीजनल एडिटर ब्रज मोहन सिंह ने बीएमएस महासचिव वीरजेश उपाध्याय से बात की. वीरजेश उपाध्याय ने सरकार द्वारा कानून में बदलाव करने को लेकर संघ का पक्ष विस्तार से रखा. देखें विशेष साक्षात्कार.
बीएमएस महासचिव वीरजेश उपाध्याय
बीएमएस के वरिष्ठ नेता वीरजेश उपाध्याय ने बताया कि हम 20 मई को देशव्यापी विरोध प्रदर्शन में शामिल हो रहे हैं. उन्होंने कहा कि नए श्रमिक कानून के कई प्रावधान ऐसे हैं, जिसके बारे में आजतक नहीं सुना गया है. जैसे काम के दौरान कार्य अवधि को 12 घंटे तक कर दिया गया है. यह सचमुच अमानवीय है.
भारतीय मजदूर संघ के मुद्दों का बिंदुवार विवरण
- 20 मई को देशव्यापी विरोध प्रदर्शन की तैयारी
- यूपी, एमपी समेत कई राज्यों में नए श्रमिक कानून
- श्रमिकों की 12 घंटे की शिफ्ट किए जाने का विरोध
- प्रवासी मजदूर कानून की उड़ाई जा रही हैं धज्जियां
- यह कानून श्रमिकों के अधिकारों के खिलाफ
- मजदूरों की छंटनी गलत है
- बीएमएस ने सभी मुख्यमंत्रियों को लिखा पत्र
- सिर्फ मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मिलने को हुए तैयार
- हम सरकार के आर्थिक पैकेज का स्वागत करते हैं
Last Updated : May 18, 2020, 4:49 PM IST