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Dhamtari: प्रकाश पर्व पर गुरूद्वारा भवन में स्थापित किये गये गुरुग्रंथ साहिब जी

धमतरी (Dhamtari) में गुरु नानक देव (Guru Nanak Dev)जी के 552वें जयंती (552nd birth anniversary) पर सिख समाज (Sikh society) द्वारा नवनिर्मित गुरुद्वारे में उत्साह (enthusiasm in the gurudwara) के साथ गुरु नानक जयंती (Guru Nanak Jayanti) मनाई गई. इस दौरान पुराने गुरुद्वारा (gurudwara) से नए गुरुद्वारा में गुरु ग्रंथ साहिब जी (Guru Granth Sahib Ji) को प्रकाश किया गया.

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Published : Nov 19, 2021, 7:11 PM IST

Gurdwara Bhawan on Prakash Parv
प्रकाश पर्व पर गुरूद्वारा भवन

धमतरी:कार्तिक पूर्णिमा के दिन मनाए जाने वाले गुरु नानक देव (Guru Nanak Dev)जी के 552वें जयंती(552nd birth anniversary) पर सिख समाज(Sikh society) द्वारा नवनिर्मित गुरुद्वारे (enthusiasm in the gurudwara)में उत्साह के साथ गुरु नानक जयंती (Guru Nanak Jayanti) मनाई गई. इस अवसर पर पुराने गुरुद्वारा (gurudwara) से नए गुरुद्वारा में गुरु ग्रंथ साहिब जी(Guru Granth Sahib Ji) को प्रकाश किया गया. उसके बाद दिनभर मत्था टेकने के साथ अन्य विविध कार्यक्रम आयोजित किए गए. इस दौरान सिख समाज में भारी उत्साह देखा गया.

गुरूद्वारा भवन में स्थापित किये गये गुरुग्रंथ साहिब जी

धूमधाम से मना प्रकाश पर्व (Prakash Parv)

दरअसल, धमतरी (Dhamtari) के मोटर स्टैंड वार्ड में स्थित लगभग 70 वर्षों से संचालित गुरुद्वारा में स्थापित गुरु ग्रंथ साहिब जी को गुरु नानक जयंती के अवसर पर सुबह 5 बजे गुरुद्वारा भवन में प्रकाश किया गया. गुरु ग्रंथ साहिब को पुराने गुरुद्वारे से निकालकर उत्साह उमंग के साथ घड़ी चौक होते हुए वापस गुरुद्वारा भवन में पहुंचे. जहां पहले तले में पूरे सम्मान के साथ उन्हें विराजित किया गया. उसके बाद से लगातार सिख समाज एवं अन्य समाज के लोग मत्था टेकने पहुंचते रहे. वहीं, दोपहर 1 बजे लंगर का आयोजन किया गया. जहां लुधियाना और अमृतसर से दो प्रमुख जत्थे पहुंचे, जिनके द्वारा लगातार शबद कीर्तन होता रहा.

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दशकों पुराना है ये गुरुद्वारा

इस दौरान गुरु सिंह सभा के प्रधान हरमिंदर छाबड़ा, जनरल सेक्रेटरी जसपाल छाबड़ा सहित कमेटी के पदाधिकारी लगातार आयोजन में जुटे रहे. उन्होंने बताया कि ये गुरुद्वारा दशकों पुराना है, जहां सिख समाज द्वारा विविध आयोजन किए जाते थे. लेकिन समय के अनुसार जगह पर्याप्त नहीं होने की वजह से गुरुद्वारा के सामने भव्य नवनिर्मित भवन में गुरु ग्रंथ साहिब को स्थापित किया गया है.

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