पटना:राजधानी पटना के गंगा घाटों में गंगा का जलस्तर अब धीरे-धीरे कम होने लगा है. लोक आस्था के महापर्व छठ से पहले गंगा के जलस्तर में हुई कमी के बाद पटना जिला अधिकारी दल बल के साथ दूसरे दिन पटना के गंगा घाट का निरीक्षण करने पहुंचे. पटना के कलेक्टरी घाट से पटना जिला अधिकारी और पटना एसएसपी के साथ पटना नगर निगम के कर्मियों ने गाय घाट तक के छठ घाटों का निरीक्षण किया है. इस दौरान मौके पर मौजूद पटना जिलाधिकारी चंद्रशेखर सिंह (Patna DM Chandrashekhar Singh) ने बताया कि अभी सुबह से कुल 32 पक्का घाटों का निरीक्षण किया गया है.
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पटना डीएम ने छठ घाटों का लिया जायजा:घाट निरीक्षण के बाद पटना जिलाधिकारी ने घाटों का निरीक्षण के बाबत जानकारी देते हुए बताया कि कुल 32 घाटों का निरीक्षण किया गया है. इस दौरान कई घाटों पर देखने को मिला है कि घाट के आसपास के रेलिंग टूटे हुए हैं, जो सुरक्षा के दृष्टिकोण से ठीक नहीं है. कई घाटों पर लाइटिंग की व्यवस्था सुचारू रूप से नहीं चल रही तो कई घाटों पर नाले का स्लैब टूटा हुआ है, जिससे घाटों पर आने वाले श्रद्धालुओं को परेशानी हो सकती है. वहीं कई घाटों पर मौजूद शौचालय की स्थिति भी ठीक नहीं है, जिसे 2 दिनों के अंदर विशेष अभियान चलाकर दुरुस्त करवाने के दिशा निर्देश जारी किए गए हैं. पटना जिलाधिकारी ने बताया कि सभी पक्का घाटों पर निरीक्षण करने के बाद घाटों के अप्रोच रोड को भी 2 दिनों के अंदर विशेष अभियान चलाकर ठीक करने के दिशा निर्देश जारी किए गए हैं.
गंगा के जलस्तर में आई है कमी:पटना जिला अधिकारी बताते हैं कि धीरे-धीरे अब गंगा का जलस्तर कम हो रहा है और इसी कड़ी में रविवार को गंगा के बड़े हुए जलस्तर में डेढ़ मीटर की कमी देखने को मिली है. छठ महापर्व से पहले एक से सवा मीटर तक गंगा के जलस्तर में कमी होने की संभावना जताई जा रही है. इसको देखते हुए पटना के सभी पक्का घाटों पर गंगा के जलस्तर में आई कमी के बाद घाटों की सीढ़ियों पर जमे मिट्टी को जल्द से जल्द हटाने के दिशा निर्देश भी जारी किए गए.
"पटना का कुछ प्रमुख छठ घाट इस वर्ष छठ व्रतियों के लिए उपलब्ध नहीं हो पाएगा. बांस घाट पर गंगा का जलस्तर काफी बढ़ा हुआ है और इस घाट के अप्रोच रोड पर भी गंगा का पानी जमा है तो दूसरी ओर कलेक्ट्री घाट और महेंद्रू घाट पर भी इस वर्ष छठ महापर्व नहीं मनाया जाएगा, क्योंकि इन घाटों की स्थिति अभी भी ठीक नहीं है. यह तीनों घाट पूरी तरह से खतरनाक है. पटना जिला प्रशासन ने इन तीनों घाटों को प्रतिबंधित कर दिया है"- डॉ. चद्रशेखर सिंह, पटना जिलाधिकारी