पटना:राजधानी पटना के मसौढ़ी में सैकड़ों परिवार भूमिहीन (Many Families are Landless in Masaurhi of Patna) हैं. सरकार की तरफ से जमीन का कागज मिलने के बाद भी लोग बेघर रहने को मजबूर हैं.सरकार ने कागज पर जमीन का मालिक तो बना दिया, लेकिन अभी तक उन्हें उस जमीन पर दखल नहीं मिला है. सैकड़ों ऐसे परिवार हैं जो बासगीत पर्चा लेकर कार्यालयों के चक्कर काटने को मजबूर हैं. शनिवार को नाराज पर्चाधारियों ने अंचल कार्यालय पर घंटों विरोध प्रदर्शन किया.
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दरअसल 2009 में सैकड़ों भूमीहीन महादलित परिवारों को बासगीत पर्चा तो दे दिया गया. लेकिन उन्हें अभी तक उस जमीन पर दखल नहीं मिला है. जिस वजह से वो सभी महादलित परिवार वहां मकान नहीं बना पा रहे हैं. इसी को लेकर अब मसौढ़ी अंचल कार्यालय पर सैकड़ों बासगीत पर्चाधारी लगातार विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. गौरतलब है कि इस बार नगर परिषद के परिसीमन में बदलाव होने पर कई पंचायतों को शहर में जोड़ दिया गया है.
पंचायत के लोग अब इस असमंजस में हैं कि अब शहर में आ जाने के बाद उन्हें प्रधानमंत्री आवास योजना (Pradhan Mantri Awas Yojana) का लाभ नहीं मिलेगा. क्योंकि उन्हें अभी तक जमीन का पर्चा मिला है लेकिन जमीन पर कब्जा नहीं मिला है. सरकार ने गांव-गांव में महादलितों को 3 डिसमिल जमीन देकर घर बसाने का वादा और आश्वासन तो दिया लेकिन आज तक उन सभी पर्चा धारियों को पर्चा मिलने के बाद उन्हें बसाने की बात भूल गई है.