दुनिया की पहली वैदिक घड़ी लगाई जा रही उज्जैन में, समय के साथ ये सब भी बताएगी
Vedic clock Ujjain :12 ज्योतिर्लिंगों में से एक महाकालेश्वर मंदिर, मंगल की उत्पत्ति हुई है, कर्क रेखा आदि की वजह से उज्जैन का एक अलग ही महत्व है. वहीं अब यहां जंतर मंतर पर वैदिक घड़ी स्थापित की जा रही है.
उज्जैन.उज्जैन की जीवाजी राव वेधशाला में एक टावर बनाया गया है, जिसपर 10x12 फीट की वैदिक घड़ी (Vedic clock Ujjain) लगाई जाएगी. यह घड़ी हिन्दू मुहूर्त बताएगी. ये 30 मुहूर्त के साथ समय बताने वाली विश्व की पहली वैदिक घड़ी होगी, जो उज्जैन में लगाई जा रही है. 1 मार्च को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस वैदिक क्लॉक का वर्चुअली उद्धाटन भी करेंगे.
घड़ी में दिखाई देगा विक्रम पंचांग भी
इस घड़ी की खास बात यह है कि वैदिक घड़ी में विक्रम पंचांग भी दिखाई देगा, और तो और यह सूर्योदय से सूर्यास्त तक की जानकारी के साथ आने वाले ग्रह, योग, भद्रा, चंद्र स्थिति, नक्षत्र, चौघड़िया, सूर्यग्रहण, चंद्रग्रहण की विस्तृत जानकारी भी देगी. इसके साथ विषुवत रेखा से कर्क रेखा और मकर रेखा के बीच सूर्य गति करता दृष्टिगोचर होता है जो सूर्य का पथ है, उसे क्रांति वृत्त कहते हैं. क्रांति वृत्त के दोनों ओर 9 अंश उत्तर और 9 अंश दक्षिण में 12 राशियां हैं.
जिस तरह हम हिन्दू मुहूर्त, ग्रह दशा, योग, भद्रा, चंद्र स्थिति, नक्षत्र, चौघड़िया, सूर्यग्रहण, चंद्रग्रहण की जानकारी के लिए कैलेंडर देखते हैं, तो वहीं यह घड़ी अपने आप इन सभी चीजों की सटीक जानकारी डिस्प्ले करेगी. उज्जैन विक्रम शोध पीठ के निदेशक श्रीराम तिवारी ने कहा, 'ये घड़ी दुनिया की पहली घड़ी होगी जिसमें भारतीय काल गणना को शुध्दतम रूप से दर्शाया जाएगा. घड़ी में विधि, घटी, काल, मुर्हुत सब कुछ मिलेगा. हम भारतीय काल गणना को पुनः स्थापित करने के उद्देशय से घड़ी लगा रहे हैं. आगे चलकर इसके एप को आम लोग अपने मोबाइल पर उपयोग कर सकेंगे.
इतनी है इस घड़ी की लागत
उज्जैन विक्रम शोध पीठ के निदेशक श्रीराम तिवारी ने बताया कि दुनिया की इस पहली वैदिक घड़ी को बनाने में 1 करोड़ 62 लाख रु की लागत आई है. उज्जैन में महाकाल के दर्शन के लिए आने वाले भक्त जंतर-मंतर पर इस अनोखी घड़ी को भी देख सकेंगे. इसके अलावा इसे एंड्रॉयड एप से भी जोड़ा जाएगा.