चंडीगढ़: केंद्रीय ऊर्जा,शहरी विकास एवं आवासन मंत्री मनोहर लाल की अध्यक्षता में हरियाणा के ऊर्जा और शहरी विकास विभाग की अहम बैठक हुई. इस बैठक में कैबिनेट मंत्री अनिल विज, विपुल गोयल शामिल हुए. जिसमें उनके विभागों से संबंधित विषयों पर विस्तार से चर्चा हुई. बैठक के बाद मीडिया से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल ने सभी विषयों की जानकारी साझा की.
'सभा राज्यों से होगी बातचीत': केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल ने कहा कि मेरे पास केंद्रीय मंत्री के नाते ऊर्जा, शहरी विकास और आवासीय विभाग है. मैंने तय किया है कि एक राउंड सभी राज्यों से बात की जाए. ताकि जो विषय पुराने चल रहे हैं और नए विषय ध्यान में आते हैं. उन की रिव्यू मीटिंग के लिए में सभी जगह जा रहा हूं. नॉर्थ ईस्ट के आठ राज्य में जा चुका हूं. साउथ के तीन राज्य जा चुका हूं, गुजरात भी गया हूं. दो दिनों में मैं हिमाचल, पंजाब, हरियाणा और चंडीगढ़ की बैठक कर रहा हूं. इन बैठक में ऊर्जा और शहरी विभाग के मामले हैं, उनको रिव्यू कर रहा हूं.
मेट्रो पर हुई चर्चा: मनोहर लाल ने बताया कि मेट्रो को लेकर भी बैठक में चर्चा हुई. जहां जहां मेट्रो का काम चल रहा है. जैसे गुरुग्राम,फरीदाबाद और बहादुरगढ़ इन सब पर भी चर्चा हुई. कुछ स्थानों के लिए मेट्रो की मांग रखी गई है. लेकिन इसमें भारत सरकार की नीति यह है कि पहले जहां मेट्रो चल रही है. अंबाला के लिए शहर और छावनी में मेट्रो चलाई जा सकती है. यमुनानगर जगाधरी में चलाई जा सकती है. इसी तरह बड़े शहरों की यह मांग आई है.'
'केंद्र सरकार से मदद लेने पर मंथन':हरियाणा की बिजली विभाग की बैठक में हरियाणा की बैठक में ऊर्जा की आज हमारी कितनी जरूरत है कितनी आगे होगी. ऊर्जा की अपनी जनरेशन कितनी होगी, बाहर से कितनी जरूरत होगी, केंद्र सरकार से कैसे मदद मिल सकती है. इस सब पर विचार कर रहे हैं. खासकर ट्रांसमिशन लाइन की सुदृढ़ता के लिए RDSS (Revamped Distribution Sector Scheme) का रिव्यू मुख्य एजेंडा रहा. उससे संबंधित सभी मुद्दों पर बात हुई है.
'सभी कंपनी ए प्लस में': उन्होंने कहा कि मैं इसे अपना सौभाग्य मानता हूं कि देशभर में हरियाणा की ऊर्जा की नीति की सराहना हो रही है. लाइन लॉस 2014 में जो तीस फीसद से अधिक थे. वह 11 पर आ गए हैं. हमारी सभी कंपनी ए प्लस में हैं. आज यह विषय आया है कि हम अपनी ऊर्जा कंपनियों को पुलिस लिस्टिंग में लाया जाए. अगर ऐसा होता है, तो यह दूसरे प्रदेश के लिए भी मार्गदर्शक विषय होगा. ताकि सभी कंपनियों की आर्थिक सेहत ठीक कर सकें. ऊर्जा विभाग के काम से मैं संतुष्ट हूं, कोई कठिनाई नहीं है.