राजस्थान

rajasthan

ETV Bharat / state

विधानसभा में गूंजा प्रदेश में बिजली कटौती और भिक्षावृत्ति से जुड़ा मुद्दा, सरकार के जवाब पर विपक्ष का हंगामा - vidhansabha session 2024

विधानसभा में सोमवार को प्रश्नकाल के दौरान प्रदेश में छोटे मासूम बच्चों से कराई जा रही भिक्षावृत्ति, बिजली कटौती और बंद पड़े औद्योगिक क्षेत्र को शुरू करने जैसे मुद्दों पर सवाल जवाब हुआ. बिजली कटौती के मुद्दे पर सरकार के जवाब से नाखुश विपक्ष ने सदन में हंगामा किया.

vidhansabha session 2024
विधानसभा में गूंजा प्रदेश में बिजली कटौती और भिक्षावृत्ति से जुड़ा मुद्दा (PHOTO ETV Bharat Jaipur)

By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Jul 22, 2024, 3:28 PM IST

Updated : Jul 22, 2024, 3:57 PM IST

विधानसभा में गूंजा प्रदेश में बिजली कटौती और भिक्षावृत्ति से जुड़ा मुद्दा (VIDEO ETV Bharat Jaipur)

जयपुर : विधानसभा का बजट सत्र सोमवार से एक बार फिर प्रश्नकाल के साथ शुरू हुआ. प्रश्नकाल के दौरान प्रदेश में मासूम बच्चों से कराई जा रही भिक्षावृत्ति, प्रदेश में बंद पड़े औद्योगिक क्षेत्र को फिर से शुरू करने, किशनगंज आदिवासी क्षेत्र को टीएसपी क्षेत्र में घोषित करने, बिजली कटौती सहित दो दर्जन से ज्यादा सवाल - जवाब हुए. बिजली कटौती के सवाल पर सदन में सरकार घिरी दिखी, सरकार के जवाब से नाखुश विपक्ष ने हंगामा किया. वहीं भिक्षावृत्ति मामले में सरकार ने कहा कि ये राजस्थान पर कलंक है, इसके लिए जनजागरण अभियान चलाएंगे.

सदन में प्रश्नकाल के दौरान विधायक इन्द्रा मीणा ने प्रदेश में हो रही बिजली कटौती के समाधान को लेकर सवाल किया तो ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर ने जवाब देते हुए कहा कि वर्तमान में 5,000 मेगावाट सोलर से आपूर्ति की जा रही है, बाकी विंड से आपूर्ति हो रही है. वर्तमान में 25 से 28% बिजली की डिमांड बढ़ी है, जिसकी वजह से 2 से 3 घंटे कटौती करनी पड़ रही है. नागर ने कहा कि दिन में पूरी बिजली दे रहे हैं, लेकिन डिमांड बढ़ने की वजह से रात को कटौती हो रही है. उन्होंने कहा कि अगर कटौती की बात करें तो 7,000 मेगावाट की कटौती हो रही है. केंद्रीय उपक्रमों से भी बिजली ली जा रही है. मंत्री ने कहा कि वर्तमान में 500 मेगावाट अतिरिक्त बिजली ली जा रही है, मंत्री के जवाब पर नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि आप पूर्ववर्ती सरकार के सभी MOU खत्म कर रहे हैं, फिर बिजली क्यों नहीं मिल रही? सरकार के जवाब में विरोधाभास है. इस पर मंत्री हीरालाल नागर ने जवाब देते हुए कहा कि पूरे प्रकरण की जांच करवाएंगे. कॉल डिटेल की भी जांच करवा लेंगे और अगर कोई दोषी पाए गए तो सस्पेंड की कार्रवाई भी की जाएगी. बिजली कटौती को लेकर सदन में विपक्ष की तरफ से सदन में हंगामा किया गया.

MLA की उपस्थिति बढ़ाने को स्पीकर ने किए खास इंतजाम, व्यवस्थाएं देखकर मन हो जाएगा खुश

भिक्षावृत्ति प्रदेश के लिए कलंक: विधायक चन्द्रभान ने प्रदेश में भिक्षावृत्ति से जुड़ा मामला सदन में उठाया कि जिस मार्ग से आते हैं वहां पर भी भिक्षावृत्ति हो रही है, बिना पुलिस की मिली भगत के भिक्षावृत्ति नहीं हो सकती ? इसके लिए सरकार की ओर से क्या कदम उठाए जा रहे हैं?. इस पर जवाब देते हुए सामाजिक न्याय अधिकारिता मंत्री अविनाश गहलोत कहा कि सरकार इस मामले में गंभीर है. भिक्षावृत्ति को रोकने के लिए पुनर्वास केन्द्र भी खोले गए हैं. हमारे यहां भिक्षावृत्ति ज्यादा है राजस्थान इससे कलंकित है,लेकिन इसकी रोकथाम के लिए सरकार उचित कदम उठाएगी.भिक्षावृत्ति को रोकने के लिए जनजागरण अभियान चलाएंगे.इसके साथ में अगर किसी तरह के गिरोह की भी सूचना इसमें आती है तो उसको लेकर भी कानून तरीके से प्रभावी कार्रवाई की जाएगी. प्रदेश में किसी भी मासूम बच्चे को भिक्षावृत्ति में नहीं धकेला जाए, इसको लेकर सरकार प्रभाव रूप से कदम उठाएगी. इसके बाद विधानसभा अध्यक्ष बोले ने कहा कि कई बार कुछ लोग भिक्षावृत्ति करवाते हैं, इसमें भी कई ठेकेदार है. इस पर मंत्री अविनाश गहलोत ने कहा कि इसमें 10 साल की सजा का प्रावधान है, आपके निर्देश पर कठोर कार्रवाई करेंगे.

यह भी पढ़ें: रविंद्र सिंह भाटी बोले- 5 साल में तैयार होगी 70 लाख बेरोजगारों की फौज, लगाए ये गंभीर आरोप

बंद उद्योगों सहित ये मामले भी उठे सदन में:प्रश्नकाल के साथ शुरू हुई सदन की कार्यवाही में विधायक रमेश खींची ने कठूमर में औद्योगिक क्षेत्र घोषित करने से जुड़ा सवाल किया. खींची ने कहा कि कठूमर में औद्योगिक क्षेत्र कब शुरू किया जाएगा? कांग्रेस सरकार ने सिर्फ घोषणा की, काम नहीं किया. इस पर उद्योग मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ ने जवाब देते हुए कहा कि पिछली सरकार ने बजट घषणा की,उसमें कुछ आपत्ति आई थी. हमने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि यह भूमि रीको को आवंटित की जाए. इसके अलावा किशनगंज के आदिवासी क्षेत्र को TSP क्षेत्र घोषित करने को लेकर बीजेपी विधायक ललित मीणा ने सवाल लगाया. जिसका जवाब देते हुए मंत्री बाबूलाल खराड़ी ने कहा कि टीएसपी क्षेत्र घोषित करना का काम भारत सरकार की ओर किया जाता है. जनगणना करवाना भारत सरकार का काम है. किशनगंज शाहाबाद क्षेत्र की जनजाति की आबादी 50 फीसदी अधिक होनी चाहिए, अभी आबादी इतनी नहीं है. जब जनसंख्या गणना हो जाएगी, तब हम उसके आधार पर रिपोर्ट भेजेंगे. कांग्रेस विधायक गणेश घोघरा ने सवाल किया कि डूंगरपुर विधानसभा क्षेत्र में कितने खेल मैदान बनाए गए हैं. मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ का जवाब देते हुए कहा ग्राम पंचायत में खेल मैदान पंचायती राज के द्वारा बनाए जाते हैं. डूंगरपुर में 4 खेल मैदान और 7 खेल अकादमी है.

सरकार के खिलाफ विपक्ष ने लगाए नारेःराज्य विधानसभा में शून्यकाल में कांग्रेस के विधायकों ने बिजली के उपभोक्ताओं से फ्यूल सरचार्ज की वसूली वापस करने के फैसले पर सरकार को घेरा. विधानसभा में जमकर विपक्ष ने हंगामा किया. इतना ही नहीं 'बिजली पानी दे न सके, वह सरकार निकम्मी है' के नारे भी लगे. हंगामे के बीच ही विधानसभा अध्यक्ष ने कार्रवाई जारी रखी. विधानसभा अध्यक्ष ने विपक्ष को आश्वस्त किया कि बिजली पर सदन में एक दिन चर्चा होगी. इसके बाद शांति हुई. इस दौरान विपक्ष के सदस्य वैल में भी आ गए.

यह भी पढ़ें: विपक्षी नेताओं के साथ राहुल गांधी ने उठाया NEET का मुद्दा, शिक्षा मंत्री ने दिया जवाब

विधानसभा में स्थगन प्रस्ताव पर बोलते हुए विधायक अमित चांचण ने बिजली की कमी और फ्यूल सरचार्ज की वसूली शुरू करने का मामला उठाया. चांचण ने कहा कि लोकसभा चुनाव में भाजपा के 11 सीटें हारने के बाद यह निर्णय लिया शायद यह आदेश ​भी पर्ची के माध्यम से दिल्ली से आया होगा. सरकार 15 लाख घरों से वूसली करने जा रही हैं. इसे रोका जाना चाहिए. बिजली की कमी से जनता त्राहीमाम कर रही है. पूर्ववती सरकार ने जनता को राहत देते हुए सरचार्ज की वसूली बंद की थी. इसके बाद सदन में विपक्ष नेता ने टीकाराम जूली ने भी अध्यक्ष से कहा कि इस पर जवाब दिलवाओ,फ्यूल सरचार्ज की वसूली रोके सरकार. इस दौरान हंगामा जारी रहा. इसके बाद शाहपुरा विधायक मनीष यादव ने भी बिजली कटौती का मामला उठाया. विधायक ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी शुरू की.

72 घंटे में अतिक्रमण टूटेंगे:उदयपुर ग्रामीण विधायक फूलसिंह मीणा ने ध्यानकर्षण के तहत शून्यकाल में ही उदयपुर जिले में अमेरिकन इंटरनेशनल हेल्थ मेनेजमेंट को आवंटित की गई जमीन का मामला उठाया. उन्होंने कहा कि इस पर मनमर्जी से निर्माण और अतिक्रमण गए हैं. इसका जवाब देते हुए इस पर मंत्री झाबरसिंह खर्रा ने कहा कि बि​ना स्वीकृति हुए निर्माण को 72 घंटे में सीज करेंगे. इसके अलावा सीएम की अध्यक्षता में एक कमेटी बनेगी, जो चार सप्ताह में रिपोर्ट देगी. फूलसिंह मीणा ने कहा कि 11 साल में पहली बार मेरा इस विषय पर ध्यानाकर्षण लगा हैं.

Last Updated : Jul 22, 2024, 3:57 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details