भोपाल। 2024 के आम चुनाव में 400 पार सीटों का दम भर रही बीजेपी अब कांग्रेस के खिलाफ मनोवैज्ञानिक दांव पेंच भी आजमा रही है. धारणा बनाने में माहिर पार्टी अब अमेठी से लेकर खजुराहो तक जनता के बीच ये माहौल बनाने की कोशिश में है कि कांग्रेस ने चुनाव लड़ने से पहले ही हार मान ली है. जिस समय राहुल गांधी वायनाड से अपना नामांकन दाखिल कर रहे हैं उस समय स्मृति ईरानी एमपी में खजुराहो सीट पर बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा का नामांकन भरवाने आईं. उन्होंने जनसभा में हो या मीडिया से बातचीत एक बात- बार दोहराई कि जिस तरह से खजुराहो सीट पर कांग्रेस ने उम्मीदवार ही नहीं उतारा वो इस बात का संकेत है कि कांग्रेस ने मुकाबले से पहले ही हार मान ली है.
स्मृति ने बताया कि यूपी से एमपी तक क्यों भगौड़े हुए कांग्रेसी
बीजेपी आम चुनाव से पहले ही ये माहौल बना रही है कि कांग्रेस हार के डर से भाग रही है. खजुराहो पहुंची स्मृति ईरानी ने अमेठी का जिक्र करते हुए कहा कि "मैं जिस इलाके की प्रतिनिधि में हूं उस क्षेत्र में भारतीय जनता पार्टी का गमछा पहनना मतलब मौत का सामान लाना समझा जाता था. माथे पर तिलक होठों पर राम का नाम राजनीतिक अभिशाप माना जाता था. जिस क्षेत्र की मैं प्रतिनिधि हूं वहां हाथ तो था ही, लेकिन संग संग कांग्रेस भी चलती थी." उन्होंने कहा कि "मैं उसी क्षेत्र से हूं जहां से हाथ साफ किया गया. साइकिल पंचर की गई और आज वही बहन आपके क्षेत्र आई है." नामांकन दाखिल करने के बाद स्मृति ईरानी ने कहा कि जिस तरह से खजुराहो में कांग्रेस ने उम्मीदवार नहीं उतारा वही इस बात का संदेश है कि पार्टी मुकाबले में उतरने से पहले ही भाग खड़ी हुई है.
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