पटना:दशहरे के बाद बिहार की राजनीति में फिर हलचल मचने वाली है, क्योंकि तेजस्वी यादव अपने दूसरे चरण के कार्यकर्ता दर्शन सह संवाद कार्यक्रम के लिए निकलने वाले हैं. 16 से 26 अक्टूबर तक 11 जिलों की यात्रा तय करते हुए वे पार्टी कार्यकर्ताओं से मिलेंगे. लेकिन, तेजस्वी की इस यात्रा पर सियासी पारा चढ़ने लगा है. इस यात्रा को लेकर बीजेपी ने सवाल उठाते हुए पूछा- "तेजस्वी बाढ़ प्रभावित इलाकों को क्यों नजरअंदाज कर रहे हैं?" राजद ने भी इस पर पलटवार किया है.
तेजस्वी को बाढ़ पीड़ितों की याद नहीं आयीः तेजस्वी यादव के कार्यकर्ता दर्शन सह संवाद कार्यक्रम के दूसरे चरण का जैसे ही शेड्यूल जारी हुआ, बीजेपी ने तेजस्वी को बिहार में आई बाढ़ की याद दिलाई. भाजपा प्रवक्ता मनीष पांडेय का कहना है कि और अभी तो दो ही विधानसभा के चुनाव परिणाम आए हैं और महागठबंधन के नेताओं में खलबली मच गई है. पिछली बार तेजस्वी यादव अपनी यात्रा में हर जिले में दो-दो दिन का प्रवास करते थे, रात्रि विश्राम करते थे. लेकिन अब खबर आ रही है कि एक जिले में एक ही दिन देने वाले हैं.
"जो मुख्यमंत्री बनने का सपना देख रहा हो, वह बाढ़ के समय में यदि राज्य से बाहर हों तो वापस आने के बाद बाढ़ प्रभावित क्षेत्र का दौरा करना चाहिए था. लेकिन, उनको डर है कि बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में जाएंगे तो जनता उनसे पूछेगी कि जब पूरा क्षेत्र जलमग्न था तो नेता प्रतिपक्ष कहां थे."- मनीष पांडेय, भाजपा प्रवक्ता
10 दिन में 11 जिलों के दौरे पर सवालः जदयू ने भी तेजस्वी यादव के कार्यक्रम को लेकर सवाल उठाए हैं. पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता अरविंद निषाद ने तेजस्वी की इस यात्रा को एक दिना का बनाने पर सवाल उठाया. कहा कि पहले दो दिवसीय प्रोग्राम किया था, इसके बाद कौन ऐसी बात हो गई कि इन जिलों में एक ही दिन में कार्यक्रम समाप्त करने वाले हैं. जदयू प्रवाक्ता ने सवाल उठाया कि जिन जिलों में दूसरे चरण की यात्रा होने वाली है वहां के लोगों से तेजस्वी की कोई बैर है क्या.
"बिहार का आधा से ज्यादा हिस्सा बाढ़ की चपेट में है, उन जिलों में अभी तक आपका (तेजस्वी यादव) कोई कार्यक्रम नहीं लगा है, ना अभी तक आप गए हैं. आप तो बिहार से पलायन करते ही रहते हैं राघोपुर की जनता को अपने हाल पर आपने छोड़ दिया है. बाढ़ प्रभावित जिलों से कोई मतलब नहीं है."- अरविंद निषाद, जदयू प्रवक्ता