लखनऊ: राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग के पत्र के बाद योगी सरकार ने निर्देश दिए कि, यूपी की सड़कों पर नाबालिगों के वाहन चलाने पर पुलिस तत्काल रोक लगाए. फिर भी न माने तो बच्चों के अभिभावकों से जुर्माना वसूल और अधिकतम मामले में जेल भी भेजा. लिहाजा अब लखनऊ समेत सभी जिलों में मुस्तैदी शुरू हो गई है वो छह जुलाई से शुरू हुए इस अभियान के तहत अब तक दस हजार चालान किए जा चुके है. इतना ही नहीं पुलिस नाबालिगों के पैरेंट्स को भी फोन कर चेतावनी दे रहे हैं.
लखनऊ पुलिस चला रही अभियान. (video credit: etv bharat) 6 जुलाई 2024 को यूपी पुलिस ने सभी जिलों के लिए निर्देश जारी किए कि, कोई भी अभिभावक अपने 18 वर्ष से कम आयु के छात्र, छात्रा को दोपहिया और चारपहिया किसी भी दशा में गाड़ी न दें. यातायात पुलिस की ओर से 20 जुलाई तक विशेष अभियान चलाकर ऐसे वाहनों की चेकिंग की जाएगी. चेकिंग के दौरान पकड़े जाने पर पुलिस द्वारा मोटर वाहन यान अधिनियम की धारा 199 (क) के अनुसार कार्रवाई अमल में लाई जाएगी. नाबालिगों द्वारा स्कूलों तक गाड़ी चला कर आते है तो स्कूलों से स्पष्टीकरण लिया जाए. स्कूलों से पूछा जाएगा कि नाबालिग स्कूल में वाहन लेकर आया लेकिन स्कूल ने जिम्मेदारी समझकर उसे नहीं समझाया. इतना ही नहीं चौराहों पर यदि नाबालिग गाड़ी चलाते दिखे तो उनके अभिभावकों से बात की जाए. लखनऊ पुलिस चला रही खास अभियान. (photo credit: etv bharat) स्कूलों में बाइक से आने वाले नाबालिगों पर भी पुलिस की पैनी नजर
लखनऊ पुलिस की प्रवक्ता डीसीपी रवीना त्यागी ने बताया कि, हर चौराहों पर खड़े ट्रैफिक कर्मी ऐसे लोगों पर ध्यान दे रहे है जो नाबालिग है और वाहन चला रहे. उन्हे रोक कर उन्हे जागरूक किया जा रहा है. इसके अलावा तत्काल उनके अभिभावकों को कॉल कर पूछा जा रहा है कि आपने वाहन क्यों दिया ? इसके अलावा चलानी कार्रवाई भी की जा रही है. इसके अलावा राजधानी के सभी स्कूलों में छुट्टी के समय पुलिस टीम पहुंच कर जांच कर रही है कि कौन नाबालिग गाड़ी चलाकर स्कूल आता जाता है. उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जा रही है. डीसीपी ने बताया हालांकि अभी किसी भी अभिभावक के खिलाफ सख्त कार्रवाई नहीं की गई है, यदि रिपीट ओफेंडर यानि कि चालान होने के बडछी दोबारा नाबालिग गाड़ी चलाता मिलता है तो उनके अभिभावक के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी जिसमें उन्हें जेल तक हो सकती है.
वाहन चालकों पर रखी जा रही पैनी नजर. (photo credit: etv bharat) 1703 अभिभावकों को कॉल पर पुलिस ने किया टाइट
एडीसीपी ट्रैफिक अजय पटेल ने बताया कि, 6 जुलाई से अब तक राजधानी में 2507 बच्चों को रोक कर उन्हे जागरूक करते हुए वाहन ना चलाने की हिदायत दी गई है जबकि 1703 अभिभावकों को कॉल कर उन्हे चेतावनी दी है. इसके अलावा अब तक 190 चालान किए गए है जिसकी जुर्माना राशि 25 हजार रुपए है। भविष्य में यह कार्रवाई और तेज होगी.
लखनऊ में यातायात पुलिस मुस्तैद. (photo credit: etv bharat) नाबालिग के पिता को पुलिस की कॉल आई तो बोले गलती हो गई
वहीं पीजीआई चौराहे पर गाड़ी चलाते सामने हाई स्कूल के छात्र को मंगलवार को पुलिस ने रोक कर उनके पिता को कॉल की और उनसे दोबारा बच्चे को गाड़ी न दिए जाने को लेकर चेतावनी दी. छात्र के पिता पेशे से अधिवक्ता है, उन्होंने बताया कि जब पुलिस का कॉल आया तो वो समझ गए थे कि उनकी गलती से आज पुलिस की कॉल आई है. उन्होंने कहा वो जानते है कि नाबालिग का गाड़ी चलाना अपराध है ऐसे में अब भविष्य में ये दोबारा नहीं करेंगे. अधिवक्ता कहते है कि वो चाहते है कि उनके तरह ने अभिभावक भी पुलिस की चेतावनी को समझे क्योंकि यह उन्ही के बच्चो की सुरक्षा के लिए किया जा रहा है.
ये भी पढ़ेंः यूपी में साइबर अटैक, 4000 विधवाओं का पेंशन डाटा उड़ा, पेंशन के लिए अब करना होगा ये काम
ये भी पढ़ेंः VIDEO; कुशीनगर में 'नाग लोक', एक घर में मिले 150 कोबरा सांप, रेस्क्यू करने में छूटे पसीने