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राम मंदिर की बुलंद आवाज कामेश्वर चौपाल पंचतत्व में विलीन, 100 घरों में नहीं जला चूल्हा - KAMESHWAR CHAUPAL LAST RITES

सुपौल में विश्व हिंदू परिषद के वरिष्ठ पदाधिकारी कामेश्वर चौपाल का अंतिम संस्कार किया गया. इस मौके पर कई बड़े मंत्रियों ने उन्हें श्रद्धांजलि दी.

KAMESHWAR CHAUPAL Last rites
कामेश्वर चौपाल का अंतिम संस्कार (ETV Bharat)

By ETV Bharat Bihar Team

Published : Feb 8, 2025, 7:55 PM IST

सुपौल:बिहार के सुपौल के मरौना प्रखंड के कमरेल गांव में एक युग का अंत हो गया. भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता, राम मंदिर आंदोलन के प्रथम कारसेवक और विश्व हिंदू परिषद के प्रमुख सदस्य कामेश्वर चौपाल का अंतिम संस्कार भावभीनी श्रद्धांजलि के साथ किया गया. उनके निधन से देश ने न केवल एक सामाजिक नेता को खो दिया, बल्कि राजनीति और समाजसेवा का एक उज्ज्वल अध्याय भी समाप्त हो गया.

कई बड़े मंत्रियों ने दी अंतिम विदाई: कामेश्वर चौपाल के अंतिम संस्कार में बिहार की राजनीति के कई नामचीन लोगों ने हिस्सा लेकर उन्हें अंतिम विदाई दी. जिसमें बिहार भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सह भूमि सुधार व राजस्व मंत्री डॉ दिलीप जायसवाल, ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र प्रसाद यादव, पीएचईडी मंत्री नीरज बबलू और कई नेता शामिल हुए. इसके अलावा सम्पूर्ण मिथिला के कई राजनीति दल के लोगों ने उनका अंतिम दर्शन किया.

मौन हो गई राम मंदिर की बुलंद आवाज (ETV Bharat)

100 घरों में नहीं जला चूल्हा: कामेश्वर चौपाल के निधन के बाद से पिछले दो दिनों से करीब एक सौ घर में चूल्हे नहीं जले हैं. बताया जा रहा है कि उनके निधन की तिथि से चार दिन बाद चूल्हा जलाया जाएगा. डॉ दिलिप जयसवाल ने कहा उनके विचारों ने उन्हें राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और विश्व हिंदू परिषद (विहिप) से जोड़ा.

"उन्होंने हिंदू समाज के उत्थान और सामाजिक समरसता के लिए महत्वपूर्ण कार्य किए. उन्हे राम मंदीर के निर्माण में प्रथम ईंट रखने का भी सौभाग्य प्राप्त हुआ."- डॉ दिलीप जायसवाल, बिहार बीजेपी अध्यक्ष

ऊर्जा मंत्री ने दी श्रद्धांजलि: मंत्री नीरज बबलू ने कहा कि "उन्होंने आरएसएस और वीएचपी से जुड़कर देश के लिए काफी कुछ किया है. वो सभी इस दुख की घड़ी में उनके परिवार के साथ खड़े हैं."मंत्री बिजेंद्र प्रसाद ने कहा कि कामेश्वर चौपाल एक गरीब घर में पैदा हुए लेकिन उन्होंने देश के लिए बड़ा काम किया.

कई बड़े मंत्रियों ने दी अंतिम विदाई (ETV Bharat)

"कामेश्वर चौपाल ने लोगों के लिए बहुत बड़ा काम किया है. हम उन्हें श्रद्धांजलि देने आए हैं. वह हमारे ही विधानसभा क्षेत्र के निवासी थे. दुख की घड़ी में हम उनके परिवार के साथ हैं."-बिजेंद्र प्रसाद यादव, ऊर्जा मंत्री

कैसे हुई कामेश्वर चौपाल की मौत: विश्व हिंदू परिषद के वरिष्ठ पदाधिकारी कामेश्वर चौपाल, जिन्होंने 1989 में अयोध्या राम मंदिर के निर्माण के लिए पहली ईंट रखी थी, उनका गुरुवार रात दिल्ली में लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया. वह 68 वर्ष के थे. उन्होंने दिल्ली के सर गंगा राम अस्पताल में अंतिम सांस ली, जहां उन्हें कुछ दिन पहले संक्रमण और उसके बाद गुर्दे की विफलता के बाद भर्ती कराया गया था.

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