देर रात तक कृष्ण जन्मोत्सव की धूम, लड्डू गोपाल को झुलाया झूला, युवाओं ने फोड़ी दही हांडी - Krishna Janmotsav Korba
Krishna Janmotsav Korba, Krishna janmashtami korba छत्तीसगढ़ के कोरबा में देर रात तक कृष्ण जन्माष्टमी की धूम रही. मंदिर में भक्तों की काफी भीड़ रही. युवतियों और महिलाओं ने लड्डू गोपाल को झूला झुलाया. युवकों के लिए दही हांडी का आयोजन किया गया. Dahi Handi
कोरबा: शहर व आसपास के उपनगरीय क्षेत्र में देर रात तक कृष्ण जन्मोत्सव की धूम रही. कृष्ण जन्माष्टमी को लेकर सुबह से ही भक्तों में खासा उत्साह दिखा. लड्डू गोपाल को झूला झुलाने खास तौर पर शहर के सीतामढ़ी सत्यदेव मंदिर में भक्त देर रात तक डटे रहे.उपनगरी क्षेत्रों में भी बड़े पैमाने पर भक्त मंदिर पहुंचे . देर रात 12:00 बजे तक मंदिरों में लोग भीड़ लगाकर जमे हुए थे. 12 बजते ही कृष्ण जन्मोत्सव की खुशियां बांटी गई. देर रात तक दही हांडी प्रतियोगिताएं चलती रहीं. युवाओं की टोली ने दही हांडी फोड़कर कृष्ण जन्माष्टमी को धूमधाम से मनाया.
कोरबा में जन्माष्टमी की धूम (ETV Bharat Chhattisgarh)
सामूहिक आरती और झांकियों ने लोगों को किया आकर्षित:सीतामढ़ी स्थित सत्यदेव मंदिर में श्री कृष्ण जन्मोत्सव की खास तैयारी की गई थी. सुबह से देर रात तक मंदिर में श्रद्धालु डटे रहे, दोपहर के बाद भगवान की लीलाओं का मंचन किया गया. झांकियां को देखने के लिए लोगों की लंबी कतार लगी रही.
लड्डू गोपाल को झुलाया झूला (ETV Bharat Chhattisgarh)
विशेष सजा सज्जा और लाइटिंग को देखने लोग मंदिर परिसर में बने रहे. इसी तरह श्याम मित्र मंडल की ओर से श्याम मंदिर मिशन रोड में जन्माष्टमी उत्सव को लेकर खास कार्यक्रम का आयोजन किया गया था. आतिशबाजी के साथ रात 12:00 बजे कृष्ण जन्मोत्सव मनाया गया और सामूहिक आरती में बड़ी तादाद में लोग मौजूद रहे.
कोरबा में कृष्ण जन्मोत्सव पर दही हांडी (ETV Bharat Chhattisgarh)
1994 में मंदिर की प्रतिष्ठा से ही कृष्ण जन्माष्टमी को प्रमुख रूप से मना रहे हैं. हर रोज 40 से 50 हजार लोग प्रभु के दर्शन करने आते हैं.-अशोक मोदी, संस्थापक सत्यदेव कृष्ण मंदिर
सुबह से श्रद्धा भक्ति से मंदिर आए है. यहां बहुत धूमधाम से जनमाष्टमी मनाते हैं -सरस्वती, श्रद्धालु
कृष्ण जन्माष्टमी पर झांकियां (ETV Bharat Chhattisgarh)
रुक रुक कर होती रही बारिश तैयारी में खलल :बड़े मंदिरों के साथ ही मोहल्लों और बस्तियों में भी कृष्ण जन्मोत्सव मनाया गया. दही हांडी बांधकर युवाओं ने मटकी फोड़ी, दिनभर रुक-रुक कर बारिश होती रही, जिसने तैयारी में कुछ खाल जरुर डाल. लेकिन कृष्ण जन्माष्टमी पर बरसात होने का भी अपना महत्व होता है. इसे भी शुभ माना जाता है.