ग्वालियर: ग्वालियर चंबल-अंचल का बंदूकों से पुराना नाता रहा है. इस क्षेत्र में जिसके घर बंदूक होती है. उस घर का रुतबा अलग होता है, लेकिन अब इसी बंदूक पर बिजली कंपनी निशाना साध रही है. अब ग्वालियर के लगभग 17 हजार लोगों के हथियार लाइसेंस निरस्त कराने के लिए आतुर है. वजह इन लोगों के घर का बिजली बिल सालों से बकाया है और बिजली कंपनी की यह मुहिम काम करती भी नजर आ रही है, क्योंकि कई लोगों ने नोटिस मिलने के बाद अपने बकाया बिल जमा कर दिए हैं.
1300 लोगों को किया गया है चिन्हित
ग्वालियर में बकायेदारों की लिस्ट बहुत लंबी है, लेकिन अब तक बिजली कंपनी ने ऐसे 1300 लोगों को चिन्हित कर शस्त्र लाइसेंस निरस्त करने के नोटिस थमा दिए हैं. लाइसेंस होने की जानकारी बिजली कंपनी को लगी थी और उनके प्रॉपर एड्रेस और मोबाइल नंबर के जरिये कनेक्शन ट्रैक कर लिए गए. इस कदम का फायदा भी मिलने लगा है, क्योंकि नोटिस मिलने के बाद कई लोग बकाया बिजली बिल जमा करने के लिए बिजली कंपनी के दफ्तर पहुंच रहे हैं.
नोटिस का पता चलते ही जमा कराए एक लाख रुपये
बिजली कंपनी के अधिकारियों की मानें तो नोटिस जारी होने के बाद अब तक 284 उपभोक्ता अपना बकाया बिल जमा कर चुके हैं. शहर के मुरार इलाके में रहने वाले रघुराज ने भी हाल ही में 1,00,000 रुपया का बकाया बिजली का बिल जमा किया है. रघुराज का कहना है कि 'अपने काम के लिए बिजली विभाग के ऑफिस गए थे, जहां उन्हें पता चला कि बकाया बिल जमा न करने की वजह से उन्हें हथियार लाइसेंस निरस्त करने के लिए नोटिस जारी किया जा रहा है, रघुराज गौड़ का कहना है कि बिल तो एक ना एक दिन जमा करना ही था, लेकिन अगर इस अनदेखी में बंदूक का लाइसेंस निरस्त हो जाता तो क्या फायदा निकलता, क्योंकि हथियार लाइसेंस आसानी से नहीं बनता है.'
600 लोगों को जारी किए हैं नोटिस
इधर जब इस मामले पर बिजली कंपनी के महाप्रबंधक नितिन मांगलिक से बात हुई तो 'उनका कहना था कि शहर में ऐसे कई बकाएदार हैं, जिनका लाखों का बिल बाकी है, लेकिन काफी समय बीतने के बाद भी वे इसे जमा नहीं करा रहे हैं. ऐसे बकायेदारों के बारे में पता करने पर यह बात सामने आयी कि कई बिजली बकाएदारों के शस्त्र लाइसेंस भी बने हुए हैं. वे अपने बिलिंग एड्रेस पर ही रह रहे हैं. प्रशासन से ग्वालियर के हथियार लाइसेंसधारियों की लिस्ट मांगी गई थी.