मिर्जापुर :मझवां विधानसभा उप चुनाव के लिए गुरुवार को सपा-बसपा के प्रत्याशियों ने किया नामांकन. बहुजन समाज पार्टी से दीपक तिवारी ने एक सेट में किया नामांकन, जबकि समाजवादी पार्टी से डॉ. ज्योति बिंद ने तीन सेटों में नामांकन किया. वहीं कुंदरकी सीट से सपा के हाजी रिजवान ने नामांकन किया है. दूसरी तरफ भाजपा के रामवीर सिंह हैं. हालांकि उन्होंने अभी तक नामांकन नहीं किया है.
उत्तर प्रदेश की नौ विधानसभा सीटों पर उपचुनाव हो रहा है. मिर्जापुर की मझवां विधानसभा सीट पर भी उपचुनाव कराया जा रहा है, जिसको लेकर नामांकन की प्रक्रिया चल रही है. नामांकन के सातवें दिन सपा-बसपा के प्रत्याशियों ने पर्चा दाखिल किया. अपने समर्थकों के साथ दोनों प्रत्याशी जिला मुख्यालय पहुंचे और नामांकन किया.
बसपा सुप्रीमो मायावती ने मझवां विधानसभा सीट पर ब्राह्मण चेहरे पर दांव लगाया है. दीपक तिवारी को अपना उम्मीदवार बनाया है. दीपक जीडी बिनानी डिग्री कॉलेज के अध्यक्ष रह चुके हैं. इसके साथ ही समाजवादी पार्टी में महासचिव के पद पर थे. इसके बाद इन्होंने भारतीय जनता पार्टी में कुछ दिन अपनी राजनीति की. जब कहीं से टिकट नहीं मिला तो बसपा का दामन थाम लिया. बसपा ने दो महीने पहले ही टिकट घोषणा कर दी थी और तभी से चुनावी मैदान में उतारकर प्रचार कर रहे हैं. दीपक पत्थर व्यवसायी हैं. क्रेशर प्लान्ट और गाड़ियां चलती हैं. वे शहर कोतवाली थाना क्षेत्र के पांडेपुर मोहल्ले के रहने वाले हैं.
वहीं समाजवादी पार्टी ने पूर्व सांसद रमेश बिंद की बेटी डॉ. ज्योति बिंद को अपना प्रत्याशी बनाया है. 25 वर्षीय डॉ. ज्योति पहली बार चुनावी मैदान में उतर रही हैं. डॉ. ज्योति ने अपनी स्कूली शिक्षा लखनऊ के सीएमएस गोमती नगर से की है और इसके बाद महाराष्ट्र की डीवाई पाटिल यूनिवर्सिटी से एमबीबीएस की डिग्री हासिल की है. पिता रमेश चंद बिंद मझवा विधानसभा से 2002, 2007,2012 में बसपा से विधायक थे. 2017 के चुनाव में बीजेपी के सुचिस्मिता मौर्य से हार गए. 2019 के लोकसभा में भदोही से बीजेपी से सांसद चुने गए. टिकट कट जाने के बाद समाजवादी पार्टी का दामन थाम कर 2024 के लोकसभा में मिर्जापुर से लड़े लेकिन अनुप्रिया पटेल से हार गए. डॉ. ज्योति बिंद देहात कोतवाली थाना क्षेत्र के इटवा की रहने वाली हैं.
नामांकन के बाद बसपा प्रत्याशी दीपक तिवारी ने भाजपा और सपा पर निशाना साधा. सपा प्रत्याशी डॉ. ज्योति बिंद को लेकर कहा कि उनके पिता रमेश चंद बिंद तीन बार बसपा से इस क्षेत्र से विधायक थे. जनता ने 2017 में नकार दिया तो जिला छोड़कर भदोही चले गए. अब बेटी के सहारे नैया पार करना चाह रहे हैं. वहीं निषाद पार्टी से विधायक रहे डॉक्टर विनोद बिंद पर निशाना साधा. कहा कि निषाद पार्टी से आकर 2 साल विधायक रहे. इनके चलते यह सीट खाली हुई है. यह भी सांसद बन गए भदोही से. जनता के साथ दोनों ने विश्वासघात किया है.