जबलपुर। मध्यप्रपदेश के धार जिले में बाओबाब वृक्षों की कटाई, बिक्री व परिवहन के मामले को संज्ञान में लेते हाईकोर्ट न जनहित याचिका के रूप सुनवाई शुरू की. सुनवाई के दौरान सरकार ने हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस रवि विजय कुमार मलिमथ तथा जस्टिस विशाल मिश्रा की युगलपीठ को बताया कि मामले की जांच के साथ ही बाओबाब पेड़ के संरक्षण के लिए कमेटी गठित की गयी है. कमेटी ने रिपोर्ट प्रस्तुत कर दी है. युगलपीठ ने कमेटी की अनुशंसा पर सरकार को एक सप्ताह को निर्णय लेने के निर्देश दिये हैं.
एक पेड़ की कीमत 10 लाख रुपए से अधिक
गौरतलब है कि धार जिले में बाओबाब के पेड़ को काटने का मामला एक अंग्रेजी अखबार में प्रकाशित हुआ था. इसके अनुसार क्षेत्रीय नागरिक बाओबाब वृक्ष काटने का विरोध कर रहे हैं. बाओबाब पेड़ को अफ्रीका में द वर्ल्ड ट्री की उपाधि दी गयी है. अफ्रीका के आर्थिक विकास में इस पेड़ का बड़ा महत्व है. हैदराबाद के एक व्यापारी अपने फार्म में इन पेड़ों की खेती और आर्थिक लाभ के लिए उनकी कटाई कर बेच रहा है. इसके एक पेड़ का मूल्य 10 लाख रुपये से अधिक है. इस कारण दूसरे लोग भी अपने खेत में लगे पेड़ को बेचने के लिए काट रहे हैं.
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