उत्तराखंड

uttarakhand

ETV Bharat / state

गडकरी से मिले सीएम धामी, कैंची धाम, ऋषिकेश बाइपास और दून-मसूरी प्रोजेक्ट को मिली सहमति, जाम से मिलेगी मुक्ति - CM Dhami Nitin Gadkari meeting

CM Dhami Nitin Gadkari meeting अपने दिल्ली दौरे के दौरान सीएम धामी का केंद्रीय मंत्रियों से मुलाकात का सिलसिला जारी है. सीएम धामी ने केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से भेंट की. केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री ने प्रसिद्ध कैंची धाम बाईपास के निर्माण के लिये सैद्धांतिक सहमति दे दी है. इसके साथ ही देहरादून-मसूरी की संयोजकता वाले 40 किमी लम्बे सड़क परियोजना एवं ऋषिकेश बाईपास के लिये भी सैद्धांतिक सहमति मिल गई है.

CM Dhami Nitin Gadkari meeting
सीएम धामी की गडकरी से मुलाकात (Photo- Information Department)

By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Jun 28, 2024, 11:20 AM IST

देहरादून/दिल्ली:मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने नई दिल्ली में केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी से भेंट कर उन्हें प्रदेश की जनता की ओर से पुनः सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय का दायित्व मिलने पर बधाई एवं शुभकामनाएं दीं. मुख्यमंत्री ने कहा कि उनके कुशल नेतृत्व में सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय, अभूतपूर्व कीर्तिमान स्थापित करेगा.

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी की मुलाकात से उत्तराखंड को खुशियों की रोड मिल रही हैं.केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री ने मोहकमपुर से अजबपुर तक के मार्ग को एलिवेटेड मार्ग के रूप में परिवर्तित किये जाने तथा देहरादून रिंग रोड के शेष कार्यों के लिये सैद्धांतिक सहमति प्रदान की है. मुख्यमंत्री धामी ने उनसे कुमांऊ एवं गढ़वाल को जोड़ने वाले 256.90 किमी लम्बे सड़क मार्ग को राष्ट्रीय राजमार्ग के रूप में अधिसूचित किये जाने का भी अनुरोध किया.

मुख्यमंत्री ने खटीमा शहर हेतु रिंग रोड निर्माण, हल्द्वानी बाईपास निर्माण, पंतनगर एयरपोर्ट हेतु बाईपास निर्माण के साथ ही चंपावत बाईपास, लोहाघाट बाईपास, पिथौरागढ़ बाईपास के निर्माण का भी किया अनुरोध. मुख्यमंत्री ने सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, भारत सरकार, सीआरआईएफ, एनएच एवं एनएचएआई के माध्यम से राज्य सरकार को विशिष्ट सहयोग दिये जाने के लिये केंद्रीय मंत्री का आभार जताया.

मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय सड़क परिवहन मंत्री गडकरी को बताया कि भारत सरकार द्वारा 2016 में राज्य के 06 मार्गों खैरना-रानीखेत, बुआखाल-देवप्रयाग, देवप्रयाग-गजा-खाड़ी, पाण्डुवाखाल नागचुलाखाल-बैजरों, बिहारीगढ़-रोशनाबाद तथा लक्ष्मणझूला-दुगड्डा-मोहन-रानीखेत को राष्ट्रीय राजमार्ग के रूप में उच्चीकृत किये जाने की सैद्धांतिक सहमति प्रदान की गई थी. उन्होंने उक्त मागों की अधिसूचना निर्गत किए जाने का अनुरोध किया.

मुख्यमंत्री ने कुमाऊं एवं गढ़वाल को जोड़ने वाले 256.90 किमी लम्बे खैरना-रानीखेत- भतरौंजखान-भिकियासैंण-देघाट-महलचौरी-नागचुलाखाल-बुंगीधार-बैंजरों सड़क मार्ग को राष्ट्रीय राजमार्ग के रूप में अधिसूचित करने का अनुरोध करते हुए बताया कि इसे राष्ट्रीय राजमार्ग के रूप में अधिसूचित किये जाने से कुमाऊं एवं गढ़वाल क्षेत्र में पर्यटन गतिविधियों में वृद्धि के साथ-साथ क्षेत्र का आर्थिक विकास होगा. यह मार्ग 05 विधानसभा क्षेत्रों- नैनीताल, रानीखेत, सल्ट, कर्णप्रयाग एवं थलीसैंण को जोड़ेगा. मुख्यमंत्री ने 189 किमी लम्बे काठगोदाम-भीमताल-धानाचूली- मोरनौला- खेतीखान-लोहाघाट-पंचेश्वर मोटर मार्ग को भी राष्ट्रीय राजमार्ग के रूप में अधिसूचित किये जाने का आग्रह केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री से किया.

मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय सड़क परिवहन मंत्री से मोहकमपुर आरओबी से अजबपुर आरओबी तक (विधान सभा चौक से मोहकमपुर तक) के मार्ग को ऐलिवेटेट मार्ग के रूप में परिवर्तित किये जाने का अनुरोध करते हुए कहा कि इसकी लागत 452.00 करोड़ रुपए आंकी गई है. उन्होंने प्रस्तावित कार्य को वार्षिक योजना 2024-25 में सम्मिलित किये जाने का अनुरोध किया. मुख्यमंत्री ने कहा कि देहरादून शहर की वाहनों की बढ़ती संख्या के दृष्टिगत 51.59 किमी. लम्बी देहरादून रिंग रोड का निर्माण प्रस्तावित है. वर्तमान में देहरादून रिंग रोड का कार्य एनएचएआई द्वारा किया जा रहा है. आशारोड़ी से झाझरा तक कुल 12.00 किमी लम्बाई में 04-लेन का निर्माण कार्य प्रगति पर है. शेष कार्य का संरेखण कर मार्ग की डीपीआर गठन की कार्रवाई की जा रही है. मुख्यमंत्री ने इसके शेष कार्य की स्वीकृति के साथ ही 1432 करोड़ लागत की 17.88 किमी ऋषिकेश बाईपास सड़क निर्माण हेतु भी केंद्रीय मंत्री से अनुरोध किया. इन प्रस्तावों पर केन्द्रीय सड़क परिवहन मंत्री द्वारा सैद्धांतिक सहमति प्रदान की गई है.

मुख्यमंत्री ने केंद्रीय मंत्री गडकरी को अवगत कराया कि कुमाऊं क्षेत्र में एनएचएआई द्वारा अफजलगढ़ भागूवाला बाईपास का निर्माण किया जा रहा है. इसके लिये संरेखण के अंतिमीकरण की कार्रवाई की जा रही है. एलएसी के प्रस्ताव को एनएचएआई मुख्यालय से स्वीकृति प्राप्त है. मुख्यमंत्री ने सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, भारत सरकार में विचाराधीन उक्त परियोजनाओं पर प्रशासनिक एवं वित्तीय स्वीकृति प्रदान करने का अनुरोध किया. इस पर भी केन्द्रीय सड़क परिवहन मंत्री द्वारा सैद्धांतिक सहमति प्रदान की गई है.

मुख्यमंत्री ने केंद्रीय मंत्री गडकरी को मसूरी-देहरादून के मध्य बढ़ते यातायात के दबाव की समस्या से अवगत कराते हुए अनुरोध किया कि 40 किमी लम्बे देहरादून-मसूरी मार्ग की संयोजकता को भी स्वीकृति प्रदान की जाए. इस मार्ग के निर्माण से देहरादून व मसूरी में अतिरिक्त कनेक्टिविटी प्रदान करने में मदद मिलेगी. उन्होंने बताया कि दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेस वे और हिमाचल प्रदेश, पंजाब आदि के लिए मसूरी जाने वाले यातायात को देहरादून शहर में प्रवेश किए बिना इस कनेक्टिविटी का उपयोग करने और शहर को भीड़भाड़ से मुक्त करने में मदद मिलेगी. मुख्यमंत्री ने कहा कि मसूरी के लिये प्रस्तावित कनेक्टिविटी एनएच 07 पर झाझरा गोल चक्कर से प्रारम्भ होकर लाइब्रेरी चौक के पास मसूरी में समाप्त होगा. परियोजना की अनुमानित लागत 3425 करोड़ की डीपीआर के गठन की कार्रवाई गतिमान है. इस पर भी केन्द्रीय सड़क परिवहन मंत्री द्वारा सैद्धांतिक सहमति प्रदान की गई है.

मुख्यमंत्री ने केंद्रीय मंत्री से कैंचीधाम बाईपास के निर्माण की भी स्वीकृति प्रदान करने का अनुरोध करते हुए कहा कि कैंचीधाम, ज्योलीकोट-अल्मोड़ा मोटर मार्ग, राष्ट्रीय राजमार्ग 109 के किमी 24 पर स्थित है. इस स्थल पर बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं के आने एवं सड़क पर वाहनों से जाम की स्थिति बनी रहती है. वर्तमान में इस मार्ग का (ज्योलीकोट से खैरना) 2 लेन में चौड़ीकरण प्रस्तावित है, जिसका एलाइन्मेंट स्वीकृति हेतु मुख्य अभियन्ता क्षेत्रीय अधिकारी सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय भारत सरकार को प्रेषित किया गया है. इस बाईपास की लम्बाई 1.900 किमी होगी. इस बाईपास के प्रारम्भ बिन्दु के 275 मीटर बाद एक 325 मी की सुरंग भी प्रस्तावित है. इन प्रस्तावों पर भी केन्द्रीय सड़क परिवहन मंत्री द्वारा सैद्धांतिक सहमति प्रदान की गई है.

इसके अतिरिक्त मुख्यमंत्री ने खटीमा शहर हेतु रिंग रोड निर्माण, हल्द्वानी बाईपास निर्माण, पंतनगर एयरपोर्ट हेतु बाईपास निर्माण के साथ ही चंपावत बाईपास, लोहाघाट बाईपास, पिथौरागढ़ बाईपास के निर्माण का भी अनुरोध किया. मुख्यमंत्री ने केंद्रीय मंत्री से भेंट के दौरान बताया कि सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा चारधाम सड़क परियोजना, सीआरआईएफ, एनएच एवं एनएचएआई के माध्यम से राज्य सरकार को विशिष्ट सहयोग प्रदान किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के 13 जनपदों में से 10 जनपद पूर्ण रूप से पर्वतीय हैं. इन जनपदों में यातायात का मुख्य साधन सड़क मार्ग है. मार्गों को प्रत्येक ऋतु में आवागमन हेतु सुचारू किये जाने के लिए सर्वऋतु मार्गों में निर्मित किए जाने तथा प्रदेश के कई जनपदों की सीमायें अन्तर्राष्ट्रीय सीमा होने के दृष्टिगत सड़क मार्गों से ही सैन्य आवागमन होता है. सामरिक रूप से अतिमहत्वपूर्ण जनपदों में आमजनमानस की आवाजाही बनाये रखने तथा सैन्य आवागमन हेतु मार्गों को उच्चीकृत किया जाना राज्य हित में है.

मुख्यमंत्री ने राज्य महत्व की सड़क निर्माण से संबंधित उपरोक्त प्रस्तावों पर स्वीकृति हेतु केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री से अनुरोध किया. केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने इस संबंध में हर संभव सहयोग का आश्वासन मुख्यमंत्री को दिया है.
ये भी पढ़ें:उड्डयन मंत्री से मिले सीएम धामी, केदारनाथ में एटीसी सिस्टम लगाने की मांग, एयरपोर्टस विस्तारीकरण पर भी चर्चा

ABOUT THE AUTHOR

...view details