अनूपपुर। अमरकंटक की हसीन वादियों में ऐसी कई अद्भुत और मनमोहक जगहें मौजूद हैं, जहां गर्मी की छुट्टियां बिताने के लिए हजारों लोग पहुंचते हैं. मैकल पर्वत पर बसा अमरकंटक पर्यटकों की पहली पसंद बना हुआ है. अन्य स्थानों की तुलना में यहां गर्मी के मौसम में तापमान कम रहने के कारण और यहां की हरी-भरी वादियां और विभिन्न पर्यटक स्थल होने की वजह से देश के कोने-कोने से हर दिन बड़ी संख्या में पर्यटक पहुंचते हैं. अमरकंटक मां नर्मदा का उद्गम स्थल के कारण धार्मिक महत्व के तौर पर भी जाना जाता है.
नैसर्गिक सौंदर्य का होता है दीदार
भीषण गर्मी के इस मौसम में अमरकंटक का वातावरण लोगों को खूब पसंद आ रहा है. आलम यह है कि पर्यटक एक दिन की जगह दो से तीन दिन ठहर जाते हैं और जी भर के यहां के नैसर्गिक सौंदर्य का दीदार करते हैं. अमरकंटक ऊंचे पहाड़ पर बसा हुआ है, जहां चारों तरफ हरियाली ही हरियाली है. चारों तरफ पेड़ पौधे और मां नर्मदा का पवित्र जल का भराव गर्मी का एहसास नहीं होने देता है. लोग दोपहर के समय भी अमरकंटक के विभिन्न धार्मिक और पर्यटक स्थल पर जाते हैं और घंटों समय गुजारते हैं.
शंभू धारा जलाशय
अमरकंटक के वन क्षेत्र सीमा पर शंभू धारा जलाशय पर्यटकों को खूब आकर्षित कर रहा है. यहां पर वोटिंग की भी सुविधा है. पशु पक्षियों का कलरव और घने जंगल के बीच यहां का ट्रेकिंग मार्ग सैलानियों को खींच लेता है. इसी तरह सोन नदी का उद्गम स्थल सोनमूढ़ा में है. इस स्थान पर भी हरे भरे वृक्षों और पहाड़ी स्थल पर एक मनोरम दृश्य देखने मिलता है. सुदूर छत्तीसगढ़ राज्य की घने जंगल बसाहट मैदानी क्षेत्र का दीदार कराता है.
माई की बगिया है रमणीय स्थान
अमरकंटक में सागवान के घने जंगलों के बीच माई की बगिया एक अत्यंत सुंदर स्थान है. दूधिया सफेद संगमरमरी नर्मदा मंदिर और 51 शक्तिपीठों में से एक शक्तिपीठ यहां है. मुख्य रूप से चैत्र नवरात्रि में आने वाले पर्यटकों और श्रद्धालुओं को सबसे ज्यादा आकर्षित करता है. लोग पहले यहां के गांधी कुंड और रामघाट में पवित्र नर्मदा में डुबकी लगाकर इस ग्रीष्म ऋतु में ठंडक का अहसास प्राप्त करते हैं. फिर यहां के विभिन्न दर्शनीय स्थलों का अवलोकन करने जाते हैं.