अजमेर.राजस्थान में किसानों की भूमि संबंधी विवादों के निस्तारण के लिए सबसे बड़ी अदालत राजस्व मंडल है. किसान पक्षकारों के लिए न्याय की यह आखिरी उम्मीद है, लेकिन यहां न्याय मिलना भी आसान नहीं है. कई प्रकरण तो ऐसे है जिनमें पक्षकार को तीसरी पीढ़ी तक न्याय नहीं मिल पा रहा है. सरकारों ने भी राजस्व मंडल को कभी गंभीरता से नहीं लिया. यही कारण है कि यहां सदस्यों के तौर पर प्रशासनिक अधिकारियों को लगाया जाता है, जबकि जुडिशियल और वकील कोटे से सदस्यों की नियुक्ति काफी कम होती है. ऐसे में राजस्व प्रकरणों में सुनवाई का दौर लंबा चलता है और किसान पक्षकारों को न्याय की जगह मिलती है केवल तारीख पर तारिख...
राजस्व मंडल की नींव प्रदेश के किसान पक्षकारों को सस्ता, सुलभ न्याय दिलाने के उद्देश्य से रखी गई थी. तहसीलदार, एसडीओ, कलेक्टर व संभागीय आयुक्त की कोर्ट और उसके बाद इनके फैसलों के खिलाफ प्रकरण की सुनवाई राजस्व मंडल में होती है. यूं कहें कि किसान पक्षकारों के लिए न्याय की उम्मीद का अंतिम पड़ाव राजस्व मंडल है. इतनी महत्वपूर्ण संस्था होने के बाद भी सरकारों ने राजस्व मंडल को कभी गंभीरता से नहीं लिया. यही वजह है कि आज भी डिविजनल कमिश्नर और कलेक्टर जो कि आईएएस अधिकारी होते है, उनके आदेशों के खिलाफ आने वाले प्रकरणों की सुनवाई राजस्व मंडल के सदस्य आरएएस अधिकारी करते हैं. हैरानी की बात यह है कि राजस्व मंडल में सदस्यों की कुल संख्या में 50 प्रतिशत से अधिक आरएएस अधिकारी सदस्य है.
राजस्व मंडल में चेयरमैन और 20 सदस्य :राजस्व मंडल में चेयरमैन समेत 20 सदस्यों के पद है, लेकिन आज तक यह पद पूरे नहीं भरे गए हैं. सदस्यों के पदों की बात की जाए तो राजस्व मंडल में 11 सदस्य आरएएस, 5 सदस्य आईएएस, 2 सदस्य जुडिशियल और 2 सदस्य वकील कोटे से हैं.
सदस्य पदों की स्थिति :राजस्व मंडल में वर्तमान में 11 सदस्य पदों पर है. इनमें आरएएस सदस्यों के 11 में से 2 पद खाली है. आइएएस के 5 पदों में से 4 खाली है. वकील कोटे से 2 पद है जो जनवरी माह में रिक्त हो गए. ज्युडिशल कोटे से 2 पद भरे हुए हैं. आरएएस अधिकारी सदस्यों की बात करें तो वर्तमान में राकेश कुमार शर्मा, कमल अलारिया, सुरेंद्र महेश्वरी, डॉ. श्रावण कुमार बुनकर, भंवर सिंह सांधु, भवानी सिंह पालावत, डॉ. महेंद्र कुमार लोढा, रामनिवास जाट और विष्णु कुमार गोयल है. इनमें से रामनिवास जाट और विष्णु कुमार गोयल अगले माह सेवानिवृत्त होने जा रहे हैं, जबकि नवंबर माह में सुरेंद्र माहेश्वरी और इस वर्ष ही अध्यक्ष राजेश्वर सिंह भी सेवानिवृत्त होंगे. आईएएस कोटे से एक सदस्य रामदयाल मीणा है, जबकि ज्यूडिशियल कोटे से गणेश कुमार और अविनाश चौधरी हैं.
राजस्व मंडल में लंबित प्रकरण :राजस्व मामलों की सबसे बड़ी अदालत राजस्व मंडल में 20 सदस्यों और 1 चेयरमैन का पद होने के बावजूद 67 हजार के करीब प्रकरण लंबित हैं. इसके अलावा निचली अदालतों में साढ़े चार लाख के लगभग केस हैं, यानि राजस्व मंडल में न्याय कम पक्षकारों को तारीख पर तारीख मिलती जाती है.