गोरखपुर:जमीन के धंधे से होने वाली बेतहाशा कमाई, गोरखपुर जोन के 56 पुलिस कर्मियों के गले की फांस बन गई है. इस धंधे के जरिए कमाई करने के लिए जोन के विभिन्न जिलों में तैनात रहने वाले इन सिपाहियों ने एडीजी कार्यालय में तैनात सीए बाबू से साठगांठ करके खिलाड़ी कोटे में, फर्जी तरीके से अपनी संबद्धता एडीजी कार्यालय से कराई और इसके बाद जहां कहीं भी जमीन के विवाद का मामला होता था, उसके निपटारे में पहुंच जाते थे.
जिसके जरिए यह अपने चहेतों को लाभ पहुंचाते थे और अच्छी रकम कमाते थे. यह कारनामा उनका कई महीनों से चल रहा था. जिसकी शिकायत गोपनीय तरीके से बिना किसी नाम पते के एडीजी केएस प्रताप कुमार तक पहुंची थी. उन्होंने जांच गोरखपुर की एडिशनल एएसपी/ प्रशिक्षु आईपीएस अंशिका वर्मा को सौंपी थी.
अंशिका वर्मा की जांच में 56 पुलिसकर्मी जो विभिन्न जिलों से गोरखपुर में तैनाती पाए थे, विवादित जमीनों की दलाली और पैरवी में सन्लिपत पाए गए. इसके बाद एडीजी ने इन आरोपी सिपाहियों को उनके मूल जनपद में स्थानांतरित करते हुए, त्रिस्तरीय जांच कमेटी बना दी है जो तीनों एसपी रैंक के अधिकारी करेंगे.
जमीन के धंधे में लिप्त यह सिपाही खिलाड़ी न होते हुए भी खेल कोटे के तहत एडीजी कार्यालय में संबद्ध थे. गोपनीय रूप से मिली शिकायत के बाद एडीजी की जांच में भी खुलासा हो गया था. जिसमें कुछ खेल स्पर्धाओं की एडीजी ने पड़ताल की. खिलाड़ी जिस खेल में शामिल हुए उसमें कोई प्रतियोगिता जीत नहीं पाए.