साइना नेहवाल ने किया बड़ा दावा, कहा- 'जसप्रीत बुमराह नहीं झेल पाएंगे मेरा स्मैश' - Saina Nehwal on Jasprit Bumrah
Saina Nehwal on Jasprit Bumrah: पूर्व भारतीय बैडमिंटन खिलाड़ी साइना नेहवाल ने कहा है कि भारतीय गेंदबाज जसप्रीत बुमराह बैडमिंटन कोर्ट पर उनके स्मैश को नहीं संभाल पाएंगे. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि क्रिकेट के अलावा अन्य खेलों को भी समान महत्व दिया जाना चाहिए. पढ़िए पूरी खबर...
नई दिल्ली:लंदन ओलंपिक 2012 की कांस्य पदक विजेता साइना नेहवाल ने दावा किया कि भारतीय क्रिकेटर जसप्रीत बुमराह उनके स्मैश को नहीं संभाल पाएंगे. उन्होंने इस बात पर भी अफसोस जताया कि क्रिकेट के अलावा अन्य खेलों को भी महत्व दिया जाना चाहिए.
साइना नेहवाल ने क्रिकेट को लेकर बोली बड़ी बात बता दें कि कुछ दिन पहले कोलकाता नाइट राइडर्स के अंगकृष रघुवंशी ने साइना का मजाक उड़ाया था. अब डिलीट हो चुके उनके ट्वीट के कारण वे काफी आलोचनाओं के घेरे में आ गए थे. राघवनशी की टिप्पणियों पर अप्रत्यक्ष प्रतिक्रिया देते हुए 34 वर्षीय खिलाड़ी ने मजाक में कहा कि बुमराह उनके स्मैश को नहीं संभाल पाएंगे.
साइना नेहवाल (IANS PHOTOS)
नेहवाल ने शुभंकर मिश्रा के पॉडकास्ट पर बात करते हुए कहा, 'आप उस स्तर पर विराट कैसे बनेंगे? आप रोहित शर्मा कैसे बनेंगे? बहुत से खिलाड़ियों को उनके जैसा बनना पड़ता है. वे नहीं बन सकते, उनमें से कुछ ही ऐसे हैं. लेकिन मुझे लगता है कि यह ज़्यादा स्किल-आधारित खेल है. मैं सहमत हूं, मैं वहां गेंद को नहीं मार पाउंगी. मैं वैसे भी जसप्रीत बुमराह का सामना क्यों करूँगी, अगर मैं 8 साल से खेल रही होती, तो शायद मैं जसप्रीत बुमराह का जवाब देती.
बुमराह नहीं झेल पाएंगे मेरा स्मैश - नहेवाल 2012 लंदन ओलंपिक की कांस्य पदक विजेता ने कहा, 'अगर जसप्रीत बुमराह मेरे साथ बैडमिंटन खेलते हैं, तो शायद वे मेरा स्मैश नहीं ले पाएंगे. हमें इन चीज़ों के लिए अपने ही देश में आपस में नहीं लड़ना चाहिए. यही मैं कहना चाहती हूं. हर खेल अपनी जगह पर सर्वश्रेष्ठ है, लेकिन मैं कहना चाहती हूं कि दूसरे खेलों को भी महत्व दें. नहीं तो हमें खेल संस्कृति कहां से मिलेगी? और क्रिकेट, बॉलीवुड पर हमेशा हमारा ध्यान केंद्रित रहेगा'. उन्होंने यह भी कहा कि देश में इन चीज़ों को लेकर कोई लड़ाई नहीं होनी चाहिए.
जसप्रीत बुमराह (IANS PHOTOS)
साइना क्रिकेट और बाकी खेलों की कर चुकी हैं तुलना साइना ने निखिल सिम्हा पॉडकास्ट पर कहा, 'साइना ने इससे पहले सोशल मीडिया पर चर्चा शुरू की थी जब उन्होंने दावा किया था कि बैडमिंटन और टेनिस जैसे खेल क्रिकेट से शारीरिक रूप से ज़्यादा कठिन हैं. अगर आप देखें, तो बैडमिंटन, बास्केटबॉल, टेनिस और निश्चित रूप से अन्य खेल शारीरिक रूप से बहुत कठिन हैं. आपके पास शटल सर्व को पकड़ने का भी समय नहीं है, आप 20 सेकंड तक दौड़ते रहते हैं और आप बस बहुत ज़ोर से सांस लेते हैं. क्रिकेट जैसे खेल को उस तरह का ध्यान मिलता है जहां मुझे लगता है कि व्यक्तिगत स्किल, सहनशक्ति या चपलता से ज्यादा महत्वपूर्ण हैं. उस खेल (क्रिकेट) को इतना ध्यान मिलता है और अन्य खेलों को क्यों नहीं?'
उन्होंने आगे कहा, 'अन्य खेल बहुत कठिन हैं. कल्पना करें कि खिलाड़ी हर दूसरे दिन चोटिल होते हैं, फिर अच्छा प्रदर्शन करते हैं. आप सात्विक (रंकीरेड्डी) और चिराग (शेट्टी) को नहीं जानते, जिन्होंने थाईलैंड ओपन जीता, हर दिन उनके पास यहां-वहां समस्याएं होती हैं, टेप लगाते हैं और देश के लिए खेलते हैं और जीतते हैं. इस तरह के एथलीटों का भी क्रिकेटरों की तरह सम्मान किया जाना चाहिए'.
ये खबर भी पढ़ें :पेरिस में मामूली अंतर से पदक जीतने से चूके ये भारतीय एथलीट, चौथे स्थान पर खत्म किया अभियान