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25 हजार की बेसिक सैलरी वालों के पास रिटायरमेंट के समय EPF अकाउंट में कितना होगा पैसा? जानें - PROVIDENT FUND

EPFO के नियमों के अनुसार निजी क्षेत्र के कर्मचारी के EPS में योगदान के लिए माना जाने वाला मूल वेतन 15,000 रुपये तक सीमित है.

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रिटायरमेंट के समय EPF अकाउंट में कितना होगा पैसा? (Getty Images)

By ETV Bharat Hindi Team

Published : Jan 15, 2025, 10:06 AM IST

नई दिल्ली:प्राइवेट सेक्टर के हर कर्मचारी को अपने मूल वेतन का 12 प्रतिशत हिस्सा कर्मचारी भविष्य निधि (EPF) में जमा करना होता है. वहीं, नियोजक भी निजी क्षेत्र के कर्मचारी के मूल वेतन का 12 पर्सेंट उसके EPF और कर्मचारी पेंशन योजना (EPS) खातों में जमा करता है. हालांकि, नियोक्ता के हिस्से के लिए कुछ शर्तें हैं. नियोक्ता के 12 फीसदी अंशदान में से मूल वेतन का लगभग 8.33 प्रतिशत कर्मचारी के EPS अकाउंट में जाता है जबकि शेष पैसा EPF खाते में जाता है.

EPFO के नियमों के अनुसार निजी क्षेत्र के कर्मचारी के EPS में योगदान के लिए माना जाने वाला मूल वेतन 15,000 रुपये तक सीमित है. इसका मतलब है कि नियोक्ता कर्मचारी के EPS खाते में केवल 1250 रुपये (15,000 रुपये का 8.33 फीसदी) का योगदान देता है, जबकि शेष राशि EPF खाते में जाती है.

उदहारण के लिए अगर किसी कर्मचारी का मूल वेतन 25000 रुपये है तो इस मामले में कर्मचारी का योगदान 3000 रुपये (25,000 रुपये का 12 फीसदी) होगा. वहीं, नियोक्ता का योगदान मूल वेतन का 8.33 प्रतिशत EPS और 3.67 पर्सेंट EPF में होगा.

इस मामले में कर्मचारी के मूल वेतन का 8.33 फीसदी 2082 रुपये है, जो 1250 रुपये (15,000 रुपये वेतन सीमा के विरुद्ध गणना) से अधिक है. इसलिए इस मामले में, 1250 रुपये कर्मचारी के EPS खाते में जाएंगे, जबकि शेष राशि यानी 832 रुपये (2082 रुपये-1250 रुपये) कर्मचारी के EPF खाते में जाएंगे.

इसके अलावा नियोक्ता को कर्मचारी के मूल वेतन का 3.67 पर्सेंट पैसा उसके EPF खाते में जमा करना होता है, जो कि 917 रुपये (25,000 रुपये का 3.67 फीसदी) होता है. इस प्रकार 25,000 रुपये मूल वेतन वाले कर्मचारी के EPF खाते में कुल मासिक योगदान 4749 रुपये (3000 रुपये+832 रुपये+917 रुपये) होगा.

रिटायरमेंट पर EPF कोष कितना होगा?
अगर EPF की ब्याज दर 8 प्रतिश मान ली जाए और कर्मचारी रिटायरमेंट तक 25,000 रुपये का मूल वेतन हासिल करता रहता है और EPF दर 8 फीसदी रहती है. इस स्थिति में कर्मचारी की आयु 25 साल है और वह 58 साल की आयु में रिटायर होता है तो उसके EPF अकाउंट में कुल मासिक अंशदान 4749 रुपये प्रति माह होगा. सरल चक्रवृद्धि ब्याज गणना के मुताबिक इस कर्मचारी के पास रिटायरमेंट के समय 90 लाख रुपये से ज्यादा का कोष होगा.

अगर कर्मचारी की आयु 30 साल है और वह 58 वर्ष की आयु में रिटायर होता है तो उसके EPF खाते में कुल मासिक अंशदान 4749 रुपये प्रति माह होगा. सरल चक्रवृद्धि ब्याज गणना से पता चलता है कि इस कर्मचारी के पास सेवानिवृत्ति के समय लगभग 61 लाख रुपये का कोष होगा.

वहीं, अगर कर्मचारी की आयु 35 वर्ष है और वह 58 साल की उम्र में सेवानिवृत्त होता है और उसके EPF खाते में कुल मासिक अंशदान 4749 रुपये प्रति माह होगा तो इस कर्मचारी के पास सेवानिवृत्ति के समय लगभग 39 लाख रुपये का कोष होगा.

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