श्रीनगर: जम्मू कश्मीर प्रशासन ने केंद्र शासित प्रदेश के दोनों राजधानी शहरों (श्रीनगर और जम्मू) में छठा स्थापना दिवस मनाया. इस अवसर पर श्रीनगर में उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला के नेतृत्व वाली जम्मू-कश्मीर की निर्वाचित सरकार की आलोचना की.
उपराज्यपाल ने कहा था कि जम्मू-कश्मीर एक केंद्र शासित प्रदेश है और सभी को इस वास्तविकता को स्वीकार करना चाहिए. उन्होंने यह भी कहा कि जब जम्मू-कश्मीर फिर से राज्य बनेगा, तब भी यह दिवस मनाया जाएगा.
उनका यह बयान ऐसे समय में आया है, जब नेशनल कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस के विधायक केंद्र शासित प्रदेश दिवस समारोह में शामिल नहीं हुए. उन्होंने इस कार्यक्रम का बहिष्कार करने का फैसला किया.
केंद्र शासित प्रदेश के बजाय राज्य में मनाएं दिवाली
उपमुख्यमंत्री सुरिंदर चौधरी ने केंद्र शासित प्रदेश दिवस की स्थापना में विधायकों की अनुपस्थिति पर राज्यपाल मनोज सिन्हा की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया व्यक्त की. सुरिंदर चौधरी ने कहा कि हम दिवाली की पूर्व संध्या पर जम्मू-कश्मीर के लोगों को शुभकामनाएं देते हैं, और हम चाहते हैं कि हम अगली दिवाली केंद्र शासित प्रदेश के बजाय राज्य में मनाएं.
नेशनल कॉन्फ्रेंस ने जम्मू-कश्मीर के लिए बलिदान दिया है. वहां के लोगों की सुरक्षा की है और भारत की आजादी को मजबूत किया है. नेशनल कॉन्फ्रेंस में ऐसे नेता शामिल हैं जो इस देश को मजबूत बनाने और जम्मू-कश्मीर को सशक्त बनाने के लिए समर्पित हैं.
चौधरी ने कहा कि हमने कभी भी केंद्र शासित प्रदेश को स्वीकार नहीं किया और हम यूटी दिवस की कामना भी नहीं करेंगे, क्योंकि यूटी जम्मू-कश्मीर के लोगों के साथ धोखा है. हम दुआ करते हैं कि जब अगली दिवाली मनाई जाए तो वह राज्य में मनाई जाए.