नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने लंदन के भारतीय उच्चायोग को निर्देश दिया है कि वो भारत में जन्मे और ब्रिटेन में रह रहे अल्फी रिचार्ड वाट्स के अस्थियों को भारत लाने के लिए उनकी पत्नी को एनओसी जारी करें. एनओसी मिलने के बाद अल्फी रिचार्ड के अस्थियों को ब्रिटेन से हैदराबाद लाया जा सकेगा. जस्टिस संजीव नरुला की बेंच ने ये आदेश दिया.
याचिका अल्फी रिचार्ड वाट्स के पिता एंटनी वाट्स ने दायर किया था. याचिकाकर्ता की ओर से पेश वकील अविनाश मैथ्यूज ने कहा कि स्व. अल्फी रिचार्ड वाट्स का जन्म 3 जून 1988 को हैदराबाद में हुआ था. जिससे पता चलता है कि वे भारतीय मूल के थे. यहां तक कि स्व. अल्फी रिचार्ड ने भारतीय नागरिक शैरोन अल्फोंसो से शादी की है. याचिकाकर्ता खुद भारत के नागरिक हैं. मैथ्यूज ने कहा कि अल्फी रिचार्ड वाट्स की 15 जुलाई को ब्रिटेन में मौत हो गई थी. अल्फी रिचार्ड वाट्स ने अपने जीवनकाल में ये इच्छा व्यक्ति की थी उनकी मौत के बाद उन्हें हैदराबाद में उनके दादा के पास वाले कब्रगाह में दफनाया जाए. उनकी अंतिम इच्छा को पूरा करने की अनुमति दी जाए.
याचिका में कहा गया था कि अल्फी रिचार्ड वाट्स के अस्थियों को भारत लाने में ब्रिटेन के प्रशासन ने काफी सहयोग किया, लेकिन लंदन के उच्चायोग की ओर से एनओसी नहीं मिलने की वजह से अस्थियों को भारत लाने में अड़चन पैदा हो गई. लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग ने 29 जुलाई को अल्फी रिचार्ड वाट्स के अस्थियों को भारत लाने के लिए एनओसी देने से ये कहते हुए इनकार कर दिया कि वे ब्रिटिशा नागरिक थे और उनके पास ओवरसीज सिटिजंस ऑफ इंडिया का कार्ड भी नहीं था.