रायपुर: छत्तीसगढ़ विधानसभा बजट सत्र के दौरान आज शून्य काल में कांग्रेस विधायकों ने साधराम यादव हत्याकांड का मामला उठाया. इस मामले में सीबीआई जांच की मांग करते हुए कांग्रेस विधायकों ने जमकर नारेबाजी की और गर्भ ग्रह में उतर गए. जिसको देखते हुए सभी विपक्षी विधायकों को निलंबित किया गया. हांलाकि, बाद में आसंदी ने निलंबन रद्द कर दिया. कांग्रेसी विधायकों ने साधराम यादव घटना की भी सीबीआई जांच कराने की मांग की है.
साधराम यादव घटना पर सीबीआई जांच की मांग: पत्रकारों से चर्चा करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा, "मुद्दा डिप्टी सीएम विजय शर्मा के निर्वाचन क्षेत्र का है. इसे दबाने की कोशिश की जा रही है. विषय को भटकाने की कोशिश की जा रही है. पीड़ित पक्ष को न्याय नहीं मिल रहा है और इसलिए आवाज बहुत जोर से उठ रही है कि यह भेदभाव किया जा रहा है. बिरनपुर में जब आप सीबीआई जांच कर रहे हैं तो यहां साधराम यादव की घटना में भी सीबीआई जांच होनी चाहिए, यह हमारे सदस्यों की मांग है."
एक तरफ लगातार यह डिमांड हो रही है कि उसे उचित मुआवजा, सरकारी नौकरी दी जाए और यादव परिवार को न्याय मिले. इस मामले को लगातार कई मंचो पर उठाया गया. आज भी कबीरधाम जिला मुख्यालय में समाज के द्वारा विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है. विधानसभा में भी हमारे साथियों ने इस मुद्दे को उठाया. जिस प्रकार से इसी सदन में दो दिन पहले बिरनपुर घटना में जब आपने सीबीआई जांच की घोषणा की. इस घटना की भी जांच सीबीआई से कराने की मांग हमारे कांग्रेस विधायक दल के साथियों ने उठाया. इसका सत्ता पक्ष से इसका कोई जवाब नहीं आया. - भूपेश बघेल, पूर्व मुख्यमंत्री, छत्तीसगढ़
सीबीआई बैन को लेकर साय सरकार को घेरा: पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सीबीआई बैन को लेकर कहा,"सीबीआई बैन हमारी सरकार से पहले जो सरकार थी, उन्होंने लगाया था. ऐसी बहुत सारी घटनाएं हैं, जिसमें राज्य सरकार के अनुमति से सीबीआई जांच कर सकती है. कितने ही ऐसे प्रकरण है, जिसमें मैंने खुद मुख्यमंत्री के रूप में सीबीआई को जांच करने के अनुमति दी और जांच चली. अभी कोई गैजेट नोटिफिकेशन नहीं हुआ है. सदन में संसदीय कार्य मंत्री और विधि मंत्री गलत जानकारी दे रहे हैं. यदि राज्य सरकार ने कोई फैसला कर लिया है कि सीबीआई से प्रतिबंध हटा लिया है. उन्हीं लोगों ने इसको प्रतिबंधित किया था, अब उसे हटा लिया है. कोई गजट नोटिफिकेशन हुआ हो, इस प्रकार की जानकारी आम जनता को छत्तीसगढ़ में नहीं है."