नई दिल्ली:केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने कथित तौर पर एक मामले में आंध्र प्रदेश में दक्षिण मध्य रेलवे, गुंतकल डिवीजन के मंडल रेलवे प्रबंधक (डीआरएम), वरिष्ठ मंडल वित्त प्रबंधक (सीनियर डीएफएम) सहित सात लोगों को गिरफ्तार किया है. केंद्रीय जांच एजेंसी ने शनिवार को कहा कि रेलवे टेंडरों में पक्षपात करने के लिए रिश्वत दी गई.
सीबीआई ने पांच रेलवे अधिकारी, विनीत सिंह (डिविजनल रेलवे मैनेजर), कुंडा प्रदीप बाबू (सीनियर डिविजनल फाइनेंस मैनेजर), यू अक्की रेड्डी, तत्कालीन (सीनियर डिविजनल इंजीनियर), जिन्हें अब डिप्टी सीईएन ट्रैक के रूप में ट्रांसफर किया गया है, दक्षिण मध्य रेलवे सिकंदराबाद, एम बालाजी (कार्यालय अधीक्षक) और डी. लक्ष्मी पति राजू (खाता सहायक) सहित 13 आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. सीबीआई ने दावा किया कि एफआईआर में आरोपी के रूप में नामित व्यक्तियों या फर्मों में बेंगलुरु स्थित कंपनी के निदेशक और उनकी कंपनी, गुंतकल स्थित फर्म के प्रतिनिधि, बेंगलुरु स्थित दो अन्य फर्मों के दो प्रतिनिधि, हैदराबाद स्थित फर्म के प्रतिनिधि और दो प्राइवेट व्यक्ति शामिल हैं.
इन आरोपों पर जांच एजेंसी ने सूचित किया है कि, आरोपी ठेकेदारों ने व्यक्तिगत रूप से या संयुक्त रूप से दक्षिण मध्य रेलवे के गुंतकल डिवीजन में विभिन्न निविदाएं ली थीं और दक्षिण-मध्य रेलवे के अधिकारियों को कथित तौर भारी रिश्वत देकर विभिन्न निविदाओं के आवंटन, दिए गए कार्यों के निष्पादन और बिलों के शीघ्र प्रसंस्करण में अनुचित लाभ प्राप्त कर रहे थे. एजेंसी ने कहा कि आरोपी अधिकारी कथित तौर पर अपने अधिकार क्षेत्र के तहत विभिन्न निविदाएं देने और ठेकेदारों के कथित बढ़े हुए बिलों को मंजूरी देने में भ्रष्ट आचरण में लिप्त थे, जिससे उन्हें गलत लाभ प्राप्त हुआ और सरकारी खजाने को भारी नुकसान हुआ. सीबीआई अधिकारियों के अनुसार, आरोपी डीआरएम ने कथित तौर पर सोने के आभूषणों के रूप में कुल निविदा राशि का 0.5 प्रतिशत की दर से अवैध लाभ की मांग की.